अमेरिका के ह्यूस्टन में दस भारतीय-अमेरिकी युवकों को अपने समुदाय की सेवा करने और हिंदू संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए सम्मानित किया गया है। गैर सरकारी संगठन ‘हिंदूज ऑफ ग्रेटर ह्यूस्टन (एचजीएच)’ के अनुसार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पुस्कार जीतने वालों को शुभकामानएं दी हैं तथा इस सम्मान को भारतीय प्रवासियों खास तौर पर युवाओं के लिए अपनी जड़ों से जुड़ाव को और मजबूत करने का अवसर बताया है।
मोदी ने एचजीएच को लिखे पत्र में कहा, ‘विजेता निश्चित रूप से हमारी शानदार पहचान की समृद्धि को खास तौर पर युवा पीढि़यों में बढ़ावा देने में मदद करेंगे। प्रधानमंत्री ने कहा, ‘भारत के प्रवासी दुनिया के विभिन्न देशों में बसे हैं और भारत की गौरवशाली संस्कृति तथा परंपरा के दूत हैं। प्रेम, सौहार्द, करूणा और सनातन धर्म के दर्शन के साथ वे मानवता के प्रकाश पुंज हैं। इसके सर्वभौमिक आकर्षण ने दुनिया के लोगों को आकर्षित और प्रभावित किया है। हमारी समृद्ध विरासत हजारों साल से चली आ रही है और भौगोलिक सीमाओं के बंधन को पीछे छोड़ चुकी है।
पुरस्कार के लिए विजेताओं का चयन हिंदू धर्म से जुड़े विभिन्न संगठनों ने किया। ह्यूस्टन में भारत के वाणिज्य दूत असीम महाजन ने विजेताओं को पुरस्कार से नवाजा और नेतृत्व तथा समुदाय में भागीदारी के लिए युवाओं की प्रशंसा की।
पुरस्कार प्राप्त करने वालों में अनीश नायक (सेवा इंटरनेशनल), अनुषा सत्यनारायण (गांधी म्यूजियम, ह्यूस्टन), निथ्या रामनकुलंगरा (श्री मीनाक्षी मंदिर सोसाइटी), संदीप प्रभाकर (ग्लोबल ऑर्गेनाइजेशन ऑफ डिवाइनिटी), कृति पटेल (बीएपीएस), विपश्यत नंदा (आर्य समाज), अभिमन्यु अग्रवाल (हिंदू हैरिटेज यूथ कैंप) और रजित शाह (वल्लभ विद्या मंदिर) शामिल हैं।
दो विशेष पुरस्कार सनातन हिंदू धर्म की नमिता पलोड़ और ग्रेटर ह्यूस्टन के युवा हिंदुओं की कोमल लूथरा को दिया गया है। 73 वर्षीय सेवानिवृत्त वैज्ञानिक डॉ. मदन लूथरा को महामारी के दौरान निस्वार्थ सेवा के लिए 2020 के अखिल चोपड़ा अनसुंग हीरोज पुरस्कार से सम्मानित किया गया।