राज्यपाल ने कल ही धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध अधिनियम के अध्यादेश को दी थी मंजूरी
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में बढ़ते लव जिहाद के मामलों को देखते हुए योगी सरकार ने शनिवार को विधि विरुद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध अधिनियम को लागू कर दिया। इस अधिनियम के तहत देर रात बरेली के देवरनियां थाना में पहला मुकदमा दर्ज हुआ। पीड़िता के पिता ने आरोप लगाया कि एक मुस्लिम लड़का बेटी को बरगला कर दोस्ती किया और जब बेटी ने निकाह करने से मना कर दिया तो जबरन धर्म परिवर्तन कर निकाह करने का दबाव बना रहा है। लव जिहाद को रोकने के लिए योगी सरकार द्वारा लाये गये अध्यादेश विधि विरुद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध अधिनियम को राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने शनिवार को मंजूरी दे दी। इसके साथ ही अब प्रदेश में यह अधिनियम लागू हो गया। प्रदेश में यह अधिनियम लागू होते ही देर रात बरेली के देवरनियां थाने में पहला मुकदमा दर्ज किया गया।
थाना क्षेत्र के एक गांव निवासी पिता के मुताबिक बेटी को स्कूल जाते समय एक मुस्लिम लड़के ने प्रेमजाल में फंसा लिया, लेकिन कुछ ही दिन बाद बेटी ने दोस्ती तोड़ दी। इंटर की पढ़ाई के बाद दोनों अलग भी हो गये और इसी दौरान बेटी ने परिजनों को भी जानकारी दी। इस पर परिजनों ने विरोध किया तो आरोपी एक साल तक शांत रहा। इसके बाद फिर छात्रा को परेशान करने लगा जिस पर परिजनों ने समझाया लेकिन वह नहीं माना। शनिवार को आरोपी तमंचा लेकर छात्रा के घर में घुसकर परिजनों को धमकाया कि छात्रा का निकाह सिर्फ मुझसे होगा और धर्म-परिवर्तन भी करना पड़ेगा। पीड़िता के पिता ने आरोपित उवैश अहमद के खिलाफ थाने में मुकदमा दर्ज कराया और तहरीर मिलते ही पुलिस ने आरोपित के घर दबिश दी लेकिन, वह फरार मिला। डीआईजी ने रविवार को बताया कि शनिवार को ही प्रदेश में विधि विरुद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध अधिनियम लागू हुआ है और देर रात देवरनियां थाना में उवैश अहमद के खिलाफ अधिनियम की धारा 3/5 के साथ धारा 504 और 506 के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। थाना प्रभारी पूरे मामले की विवेचना कर रहे हैं।