सरकार झूठे दावों के बल पर अपनी कमियों पर पर्दा डालने का कर रही प्रयास
लखनऊ : समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने राज्यसभा चुनाव को लेकर बहुजन समाज पार्टी की सुप्रीमो मायावती के आरोपों को लेकर शनिवार को पलटवार किया। उन्होंने भाजपा और बसपा पर मिलीभगत का भी आरोप लगाया। अखिलेश ने आचार्य नरेंद्र देव की पुण्य तिथि पर उनको नमन करने के बाद राज्यसभा चुनाव में निर्दलीय उम्मीदवार प्रकाश बजाज को समर्थन देने के मामले में कहा कि हमने निर्दलीय को समर्थन देकर बड़ा मामला जनता के सामने खोल दिया। उन्होंने कहा कि हम जनता के सामने भाजपा तथा बसपा का सच उजागर करने में सफल रहे हैं। अब तो साबित हो गया है कि बसपा ही भाजपा की ‘बी’ टीम है। अब सब बातें साफ हो गई हैं। उन्होंने बसपा सुप्रीमो मायावती पर हमलावर होते हुए कहा कि जो लोग भाजपा के साथ अंदर से चुपचाप मिले हैं। उनका पर्दाफाश होना जरूरी था, इसीलिए समाजवादी पार्टी ने निर्दलीय उम्मीदवार का समर्थन किया। हमारा मकसद था कि वोट पड़े और जनता जाने कि कौन किससे मिला है। बड़ा सच जनता के सामने आ गया है। भाजपा सिर्फ सत्ता में बने रहने के लिए कहीं पर भी किसी के गठबंधन कर सकती है।
सपा अध्यक्ष ने कहा कि आज लोगों का रोजगार छिन गया है, नौकरी चली गई है। भाजपा की गलत नीतियों के चलते प्रदेश के किसान बेहाल हैं। बिचौलियों और बड़े व्यापारियों के सरकारी तंत्र से मिलीभगत की वजह से किसान अपनी फसल उन्हें औनपौने दाम पर बेचने को मजबूर हैं। सरकार झूठे दावों के बल पर अपनी कमियों पर पर्दा डालने का प्रयास कर रही है। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार किसानों की आय दुगनी करने और किसान की फसल का न्यूनतम समर्थन मूल्य एवं कृषि उपज की उत्पादन लागत का डेढ़ गुना करने का वादा भूल चुकी है। किसानों को इस वर्ष धान की फसल से बहुत उम्मीद थी, लेकिन किसानों को 1,888 रुपये के घोषित न्यूनतम समर्थन मूल्य के बजाय 800 से 1,000 रुपये या अधिकतम 1200 रुपये प्रति कुंतल की दर से धान बेचने को मजबूर होना पड़ रहा है।
सपा अध्यक्ष ने कहा कि धान केन्द्रों पर भी नमी के बहाने किसानों का शोषण हो रहा है। धान की खरीद में निजी एजेंसियों की चांदी है। मक्का माटी मोल बिक रहा है। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार द्वारा लाये गए नए कृषि कानूनों से खेत पर किसान का मालिकाना हक समाप्त हो जाएगा। उसकी खेती कॉरपोरेट कंपनियों की शर्तों पर होगी। देशवासियों को भाजपा से सावधान रहना चाहिए। अखिलेश यादव ने वाल्मीकि जयंती के अवसर पर लखनऊ स्थित परिवर्तन चौक स्थित उनकी प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। उन्होंने कहा कि किसी ने मां गंगा को स्वच्छ बनाने का संकल्प लिया था, उसका क्या हुआ? आज जहां हम खड़े हैं यह गोमती नदी का एक किनारा है। कभी किसी ने संकल्प लेकर के मां गंगा की कसम खाकर साफ करने का संकल्प लिया था। लेकिन, आज गंगा कितनी साफ है यह सभी लोग जानते हैं।
सपा अध्यक्ष ने कहा कि कोरोना अभी गया नहीं है। लेकिन, सरकार कम टेस्ट कराना चाहती है जिससे कम टेस्ट होंगे, सच्चाई सामने नहीं आएगी। आज लोगों को अस्पतालों में इलाज नहीं मिल पा रहा है। विकास पर कोई बात नहीं करना चाहता मैं तो चाहता हूं विकास हो, आज मेट्रो जहां तक थी वहीं तक है एक इंच भी नहीं बढ़ी है। अखिलेश यादव ने कहा कि आचार्य नरेन्द्र देव, सरदार बल्लभ भाई पटेल और महर्षि वाल्मीकि हमारे लिए प्रातःस्मरणीय है। आचार्य जी ने समाजवादी आंदोलन को नई दिशा, नया चिंतन दिया। वे उच्चकोटि के विद्धान, विचारक, शिक्षाविद, स्वतंत्रता सेनानी और बौद्धधर्म के महान व्याख्याता थे। उन्हें अजातशत्रु कहा जाता है। सरदार पटेल ने देशी रियासतों को मिलाकर स्वतंत्र भारत को जो एकता, दृढ़ता और विशालता दी उनका यह कृत्य विश्व के इतिहास में अकेला उदाहरण है। वे स्वतंत्रता संग्राम के महान योद्धा थे। सपा अध्यक्ष ने कहा कि महर्षि वाल्मीकि महाकाव्य रामायण के रचनाकार तथा न्याय और नैतिकता का बोध कराने वाले महापुरुष थे। उनके जीवन के आदर्श हमारे लिए मार्गदर्शक हैं।