कोरोना वायरस के प्रसार के बीच मलेशिया में आपातकाल के प्रस्ताव को मलेशियाई सम्राट ने खारिज कर दिया है। रविवार को प्रधानमंत्री मूहुद्दीन यासिन ने कोरोना वायरस से बचने के लिए देश में एक नए आपातकाल को लागू करने का प्रस्ताव रखा था, जिसे यहां के सम्राट ने खारिज कर दिया है। देश में आपातकाल के प्रस्ताव को लेकर पक्ष और विपक्ष के बीच सियासत तेज हो गई है। प्रधानमंत्री यासिन के इस प्रस्ताव के तहत संसद को निलंबित करने की योजना भी शामिल है। इस योजना ने देश में राष्ट्रव्यापी आक्रोश को जन्म दिया है। आलोचकों का कहना है कि चुनौतियों से निपटने के लिए प्रधानमंत्री ने अलोकतांत्रिक तरीकों का इस्तेमाल किया है। उधर, प्रधानमंत्री यासीन ने सोमवार को कैबिनेट की आपात बैठक बुलाई है। इस बैठक में यासीन सम्राट के अनुरोध पर चर्चा करेंगे।
शुक्रवार प्रधानमंत्री और सम्राट के बीच हुई थी मुलाकात
बता दें कि शुक्रवार को प्रधानमंत्री यासीन ने सम्राट से मुलाकात की थी। हालांकि, इस मुलाकात के बाद प्रधानमंत्री यासीन ने चुप्पी साध ली थी और कोई सार्वजनिक बयान नहीं दिया था। रविवार को सम्राट ने शाही परिवार के अन्य सदस्यों से परामर्श के बाद अपना बयान जारी किया है। राजमहल से जारी बयान में कहा गया है कि सुल्तान अब्दुल्ला सुल्तान अहमद शाह की राय है कि मलेशिया के किसी भी हिस्से में आपातकाल की जरूरत नहीं है। सुल्तान अब्दुल्ला ने यासीन सरकार की तारीफ करते हुए कहा कि कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने के लिए वह पूरी तरह से सक्षम है। सरकार ने कोरोना वायरस के प्रसार को बेहतर ढंग से रोकथाम की है। उन्होंने कहा कि यासीन सरकार इसे रोकने के लिए सभी उपायों को लागू करने में सक्षम है।
विपक्ष ने प्रधानमंत्री यासीन को घेरा
उधर, सम्राट ने विपक्ष से आग्रह किया है कि वह इस मामले में राजनीति न करें। सम्राट ने कहा कि विपक्ष को ऐसा कुछ भी नहीं करना चाहिए, जिससे देश में अस्थिरता को बढ़ावा मिले। उन्होंने कहा कि मौजूदा यासीन सरकार ने महामारी को नियंत्रित करने के पर्याप्त कदम उठाए हैं। सम्राट के इस आग्रह के बावजूद विपक्ष ने इस पर सियासत शुरू कर दी है। विपक्ष का आरोप है कि प्रधानमंत्री यासीन संसद में अपना बहुमत खो चुके हैं। विपक्ष का आरोप है कि सदन में परीक्षण से बचने के लिए वह संसद को निलंबित करने की योजना बना रहे हैं। विपक्ष के नेता अनवर इब्राहिम ने दावा किया कि उन्हें संसद में पूर्ण बहुमत का समर्थन है।