मध्य प्रदेश में रैगिंग से तंग आकर एक डॉक्टर ने आत्महत्या कर ली। एक अक्टूबर की शाम करीब पांच बजे जबलपुर के नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल कॉलेज के हॉस्टल नंबर तीन में डॉ. भागवत देवांगन का शव बरामद किया गया था। मृतक डॉक्टर छत्तीसगढ़ के जांजगीर राहौद नगर पंचायत का रहने वाला था। जबलपुर पहुंचे परिजनों ने पुलिस से जो शिकायत की उसके बाद जांच अधिकारियों के होश उड़ गए। दरअसल, यह मामला रैगिंग से जुड़ा हुआ सामने आया है।
परिजनों ने पुलिस को बताया है कि डॉक्टर देवांगन ने बीते 24 जुलाई को भी रैगिंग से तंग आकर आत्महत्या का प्रयास किया था, जिसके बाद पांच डॉक्टर्स के नाम सामने आए थे। कॉलेज प्रबंधन ने उन पांचों डॉक्टर्स पर कोई कार्रवाई नहीं की। एक बार फिर जब वह अपने घर से वापस पढ़ाई के लिए हॉस्टल पहुंचा तो उसके साथ फिर रैगिंग शुरू कर दी गई, जिससे तंग आकर उसने आत्महत्या जैसा कदम उठाया। परिजनों के बयान के आधार पर पुलिस मेडिकल कॉलेज की एंटी रैगिंग कमेटी, कॉलेज के डीन सहित साथी जूनियर और सीनियर डॉक्टर से पूछताछ कर मामले की छानबीन में जुट गई है।
पुलिस ने मृत डॉक्टर का स्मार्टफोन कब्जे में ले लिया है। इसके जरिए आरोपियों तक पहुंचने में मदद मिल सकती है। प्राथमिक जांच पूरी होने के साथ ही अपराधियों के खिलाफ मामला भी दर्ज कर लिया जाएगा। गौरतलब है कि बीते वर्ष ही जबलपुर के नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल कॉलेज का एक वीडियो सामने आया था, जिसमें सीनियर डॉक्टर द्वारा जूनियर डॉक्टर की खुले में रैगिंग ली जा रही थी। लंबे समय से इस तरह की रैगिंग से जुड़े मामले सामने आने के बाद भी कॉलेज प्रबंधन द्वारा कोई सख्त कदम नहीं उठाना सवालों के घेरे में है।