सफेद मक्खी, उखेड़ा रोग व बरसात से प्रभावित फसलों के मुआवजे की मांग और पिपली में किसानों पर हुए लाठीचार्ज मामले की जांच करवाने को लेकर किसानों द्वारा शुक्रवार को उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला के आवास का घेराव कर दिया। सैकड़ों की संख्या में किसानों ने बरनाला रोड स्थित चौटाला हाउस के समक्ष एकत्रित होकर नारेबाजी की । किसानों के प्रदर्शन में आशा वर्कर व बर्खास्त पीटीआई ने भी भाग लिया। किसानों के आंदोलन को देखते हुए बड़ी संख्या में पुलिसकर्मी तैनात किए गए थे । एसडीएम जयवीर यादव, तहसीलदार सहित अनेक प्रशासनिक अधिकारी भी मौके पर मौजूद रहे।
खराब फसलों के मुआवजे की मांग को लेकर अखिल भारतीय स्वामीनाथन संघर्ष समिति के बैनर तले धरना दे रहे किसानों ने किसान नेता विकल पचार की अगुवाई में मुख्यमंत्री आवास का घेराव किया। इस अवसर पर विकल पचार ने कहा कि बीते दिवस पीपली में किसानों पर हुआ हुए लाठीचार्ज ने कंडेला कांड की याद दिला दी है। उन्होंने कहा कि चौधरी देवी लाल किसान हितेषी थे, और प्रदेश के किसानों को चौधरी देवी लाल के परिवार से बहुत आशा है। उन्होंने कहा कि बीते दिवस पीपली में हुए लाठीचार्ज ने एक बार फिर से कंडेला कांड की याद दिला दी है, जो कि इसी परिवार की देन है।
उन्होंने कहा कि इस पूरे मामले में उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला इस्तीफा देकर मुख्यमंत्री व गृहमंत्री के खिलाफ मामला दर्ज करवाएं । किसानों को 40हजार रुपए प्रति एकड़ मुआवजा दिया जाए । उन्होंने कहा कि वे 24 घंटे का अल्टीमेटम देते हैं अगर किसानों की मांगों को नहीं माना गया तो प्रदेश भर के किसान उपमुख्यमंत्री का विरोध करेंगे और किसी भी गांव में उन्हें घुसने नहीं दिया जाएगा । उन्होंने इस मामले की जांच करवाने की मांग की। इसके बाद सभी किसान प्रशासनिक अधिकारियों को बिना ज्ञापन सौपे ही धरना स्थल पर वापस पहुंच गए। साथ ही कहा कि पिपली में गुरुवार को आयोजित किसान बचाओ, मंडी बचाओ रैली में किसानों पर लाठीचार्ज करवाने के मामले में जांच दुष्यंत चौटाला करवाए।