उत्तर प्रदेश सरकार की मंत्री स्वाती सिंह और उनकी बेटी पर अमर्यादित टिप्पणी करने के मामले में कांग्रेस नेता और पूर्व मंत्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी समेत पांच के खिलाफ एमपी एमएलए कोर्ट ने गिरफ्तारी वारंट जारी किया है। कोर्ट में हाजिर न होने पर विशेष न्यायधीश पवन कुमार राय ने सिद्दीकी के साथ बसपा नेता राम अचल राजभर, नौशाद अली, अतर सिंह राव और मेवालाल गौतम के खिलाफ भी आदेश जारी किए हैं।
एमपी एमएलए कोर्ट ने आरोपितों के हाजिर न होने पर नाराजगी जताते हुए कहा कि मामले में पुलिस की चार्जशीट पर आठ फरवरी, 2018 को संज्ञान लिया जा चुका है। इसके बावजूद आरोपित हाजिर नहीं हो रहे हैं। इस कारण आरोप तय नहीं किए जा सके हैं। इस प्रकरण में अगली सुनवाई तीन जनवरी को होगी।
अमर्यादित टिप्पणी मामले में 22 जुलाई, 2016 को हजरतगंज में रिपोर्ट दर्ज हुई थी। आरोप है कि नसीमुद्दीन सिद्दीकी, राम अचल राजभर व मेवालाल गौतम की अगुवाई में बसपा के सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने अंबेडकर प्रतिमा पर धरना दिया था। वहां स्वाती सिंह और उनकी बेटी के खिलाफ अभद्र भाषा का प्रयोग किया गया था। आरोपितों ने स्वाती सिंह के पति दयाशंकर सिंह को फांसी देने की मांग के साथ भीड़ को जातीय और वर्ग भेद की बात कहकर शत्रुता और हिंसा के लिए सामूहिक रूप से उत्तेजित किया था।
मामले में पुलिस ने 21 जून, 2017 को चार्जशीट लगते हुए नसीमुद्दीन, मेवालाल, रामअचल राजभर, नौशाद अली तथा अतर सिंह राव को आरोपित बनाया था। इस घटना को लेकर उसी दिन हजरतगंज कोतवाली के दारोगा शिवा साकेत सोनकर ने भी एफआइआर दर्ज कराई थी। यह मामला बिना अनुमति नारेबाजी और जाम लगाने को लेकर था। कोई आरोपित हाजिर नहीं हुआ, जिस पर कोर्ट ने सभी के खिलाफ वारंट जारी करने का आदेश दिया।