सीसीटीवी फुटेज में हत्यारे कैद, हत्यारों की सरगर्मी से तलाश में जुटी पुलिस
हत्या से पहले हिन्दू नेता ने आगंतुकों को खिलाया दही बड़ा और पिलाई चाय
लखनऊ : राजधानी में नाका थाना इलाके में खुर्शीद बाग स्थित हिन्दू समाज पार्टी के कार्यालय में शुक्रवार को दिनदहाड़े पार्टी अध्यक्ष कमलेश तिवारी की गला रेतकर हत्या कर दी गई। बदमाशों ने कमलेश से उनके घर में ही बने ऑफिस में आधा घंटे मुलाकात के दौरान उनके साथ चाय भी पी और इसके बाद घटना को अंजाम देकर फरार हो गए। पुलिस को घटनास्थल से एक पिस्टल मिली है। पुलिस इसे रंजिश का मामला मान रही है। लखनऊ के नाका थाना क्षेत्र स्थित खुर्शीद बाग कालोनी में कमलेश तिवारी ने अपने घर पर ही हिन्दू समाज पार्टी का कार्यालय बना रखा था और खुद को इस पार्टी का अध्यक्ष बताते थे। उनके नौकर स्वराष्ट्रजीत सिंह ने बताया कि आज सुबह कमलेश तिवारी के पास कुछ लोगों का फोन आया और मिलने के लिए आने को कहा। तिवारी को पुलिस प्रशासन से सुरक्षा के तौर पर एक सिपाही मिला हुआ था जो घटना के समय एक डंडा लेकर भूतल पर सोया हुआ था। फोन आने के 10 मिनट बाद तिवारी से मिलने के लिए बाइक से दो लोग आये।
इनमें एक ने भगवा कपड़े और दूसरे ने सामान्य कपड़े पहन रखे थे। यह दोनों मिठाई का डिब्बा लिए हुए थे जिसमें चाकू और असलहा था। इनके साथ एक गार्ड भी आया था जो ग्राउंड फ्लोर पर रुक गया था और यह दोनों पहली मंजिल पर स्थित कार्यालय में आ गए थे। चूंकि कमलेश तिवारी दोनों से पहले से परिचित थे, इसलिए दोनों को बिठाकर बातचीत करने लगे। उसने बताया कि कमलेश तिवारी के कहने पर उसने आगंतुकों को दही बड़ा खिलाया और चाय पिलाई। इस दौरान इन लोगों के बीच चल रही बात सुनी थी। इनमें किसी मुस्लिम लड़की और हिन्दू लड़के की शादी को लेकर चर्चा चल रही थी। पोस्टमार्टम हाउस पहुंचे लखनऊ के एसएसपी कलानिधि नैथानी ने बताया कि मौके से एक असलहा बरामद हुआ है। प्रथमदृष्टया किसी व्यक्तिगत रंजिश की बात लग रही है। आरोपित परिचित भी लग रहे हैं क्योंकि उनका जिस तरह से आना हुआ और चाय पीने के बाद घटना को अंजाम दिया। पुलिस को सीसीटीवी फुटेज भी मिला है जिसमें दोनों बदमाश हत्या को अंजाम देकर बाइक से भागते नजर आ रहे हैं।
कमलेश तिवारी ने सीतापुर में अपनी पैतृक जमीन पर गोडसे का मंदिर बनाने का ऐलान किया था। कमलेश तिवारी राम जन्मभूमि मामले में सुप्रीम कोर्ट में कुछ दिनों तक हिन्दू महासभा की तरफ से पक्षकार भी रहे थे। कमलेश तिवारी एक धर्मविशेष पर विवादित टिप्पणी के मामले को लेकर विवाद में आये थे और इन पर रासुका भी लगी थी। घटना के विरोध में समर्थकों ने पुलिस प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी शुरू की और बाजार की सभी दुकानें बन्द कराकर हमलावरों को गिरफ्तार करने की मांग की। माहौल बिगड़ता देख पुलिस प्रशासन ने पोस्टमार्टम हाउस को छावनी में तब्दील कर दिया। एसपी ट्रांस गोमती के साथ-साथ कई क्षेत्र के क्षेत्राधिकारी और कई थानों की भारी फोर्स पोस्टमार्टम हाउस पर तैनात कर दी गई है। उन्होंने बताया कि सीसीटीवी फुटेज में कैद हुए हत्यारों की सरगर्मी से तलाश की जा रही है।