आतंकियों द्वारा बंधक सभी लोगों को सुरक्षित बचाया
जम्मू : जम्मू-कश्मीर के बटोत, गांदरबल तथा श्रीनगर में शनिवार को तीन आतंकी हमलों के बाद हुई मुठभेड़ों में सुरक्षाबलों ने छह आतंकियों को मार गिराया है। इस दौरान सेना का एक जवान शहीद तथा दो पुलिसकर्मी घायल हो गए हैं। इसी बीच बटोत हमले के बाद आतंकियों द्वारा बंधक बनाए गए सभी लोगों को सुरक्षित बचा लिया गया है। शनिवार सुबह जम्मू श्रीनगर हाइवे पर बटोत से करीब नौ किलोमीटर आगे रामबन के रास्ते पर स्थित एक मंदिर के पास आतंकियों द्वारा सेना के गश्ती दल पर पहला हमला किया गया। सेना का एक गश्ती दल, जो रोड ओपनिंग डयूटी पर था, सड़क की जांच कर रहा था।
इसी दौरान वहां किसी जगह घात लगाए बैठे आतंकियों ने जवानों पर यूबीजीएल से ग्रेनेड दागते हुए हमला किया। इस हमले में हालांकि किसी जवान को कोई नुकसान नहीं पहुंचा।हमले के तुरंत बाद जवानों ने अपना मोर्चा सम्भालते हुए जवाबी कार्यवाही की। इस दौरान आतंकी मौके से फरार हो गए। हालांकि सुरक्षाबलों ने आतंकियों का पीछा करते हुए उन्हें घेर लिया। पहले तो ये आतंकी पेड़ों की आड़ में छिप गए परंतु सुरक्षाबलों की ओर से गोलीबारी शुरू होने पर आतंकवादी अपने आप को बचाने के लिए बटोत कस्बे में विजय कुमार के घर में घुस गए और परिवारवालों को बंधक बना लिया। सुरक्षाबलों ने एक बार फिर आतंकवादियों की घेराबंदी कर ली और उन्हें आत्मसमर्पण के लिए ललकारा। घरवालों की सुरक्षा को देखते हुए गोलीबारी बंद कर दी गई और बड़ी ही सतर्कता के साथ परिवार के पांच सदस्यों को आतंकियों के चंगुल से सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया।
इसके बाद केवल एक ही सदस्य आतंकियों के पास बंधक रह गया। सुरक्षाबलों ने आतंकियों से उसे भी रिहा करने को कहा तो आतंकियों ने गोलीबारी शुरू कर दी, जिसके बाद शुरू हुई मुठभेड़ में सुरक्षाबलों ने तीनों आतंकियों को मार गिराया। उधर, श्रीनगर के गांदरबल इलाके में शनिवार को ही सुरक्षाबलों को क्षेत्र में दो से तीन आतंकवादी छिपे होने की पुख्ता सूचना मिली, जिसके बाद पुलिस की एसओजी टीम और सेना के जवानों ने गांदरबल के नारानाग इलाके की घेराबंदी करते हुए क्षेत्र में आने जाने वाले मार्गों पर आवाजाही बंद कर दी। तलाशी अभियान के दौरान आतंकवादियों ने अपने आप को घिरा देख सुरक्षाबलों पर गोलीबारी शुरू कर दी, जिसके बाद मुठभेड़ शुरू हो गई। करीब तीन घंटे तक चली मुठभेड़ के बाद तीन आतंकवादी मारे गए। मारे गए आतंकवादी किस संगठन से संबंधित थे, अभी तक इसकी पुष्टि नहीं हो पाई है।