स्काई लाइट कंपनी का लाइसेंस रद्द करने की तैयारी में हरियाणा सरकार
चंडीगढ़ : हरियाणा विधानसभा चुनाव से पहले राज्य सरकार कांग्रेस को तगड़ा झटका दे सकती है। कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी के दामाद रॉबर्ट वाड्रा की मुश्किल बढ़ सकती है। वाड्रा की स्काई लाइट कंपनी का लाइसेंस रद्द करने की सरकार तैयारी कर रही है। हरियाणा ग्राम एवं आयोजना विभाग ने सभी औपचारिकताएं पूरी कर ली हैं। सोनिया की पुत्र प्रियंका गांधी के पति रॉबर्ट वाड्रा की स्काई लाइट हॉस्पिटैलिटी प्राइवेट लिमिटेड कंपनी का लाइसेंस नवीनीकरण नहीं कराया गया है। विभाग के मुताबिक वर्ष 2018 तक कंपनी की लाइसेंस फीस जमा कराई गई थी। इसके बाद लाइसेंस नवीनीकरण के लिए आवेदन नहीं किया गया है। विभाग के निदेशक केएम पांडुरंग के मुताबिक विभाग ने हरियाणा विकास और शहरी क्षेत्रों के विनियमन अधिनियम 1975 के प्रावधानों के अनुसार लाइसेंस रद्द करने की औपचारिकताएं पूरी कर ली हैं।
इसमें उपनिवेशक को सेवा देना और उसे अवसर देना शामिल है। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल स्पष्ट कर चुके हैं कि यदि कोई व्यक्ति या कंपनी लाइसेंस को नवीनीकृत नहीं कराता है तो उसका लाइसेंस समाप्त कर दिया जाएगा। वर्ष 2008 में जारी किया गया था लाइसेंसः पुलिस को दी शिकायत में सुरेंद्र शर्मा ने बताया था कि तत्कालीन कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में वर्ष 2008 में गुरुग्राम के सेक्टर-83 (शिकोहपुर) में स्काई लाइट 2.7 एकड़ में वाणिज्यिक कालोनी स्थापित करने के लिए लाइसेंस दिया गया था। स्काई लाइट हॉस्पिटैलिटी ने 18 सितंबर 2012 को 3.53 एकड़ जमीन बेची। इसमें 2.7 एकड़ भूमि के लाइसेंस वाले क्षेत्र को डीएलएफ यूनिवर्सल को 58 करोड़ रुपये में बेचा गया। वर्ष 2012 में ही टीऐंडसीपी विभाग ने यह लाइसेंस डीएलएफ को स्थानांतरित करने की अनुमति दी थी। मगर विभाग के तत्कालीन निदेशक ने अक्टूबर-2012 में इस मामले में गड़बड़ी की आशंका जताते हुए जमीन का नामांतरण (म्यूटेशन) रद्द कर दिया था।