कैसरबाग स्थित एकेडमी ऑफ मॉस कम्यूनिकेशन में परिचर्चा
लखनऊ : कैसरबाग स्थित एकेडमी ऑफ मॉस कम्यूनिकेशन में गैर पारम्परिक ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए एक परिचर्चा आयोजित की गयी। कार्यक्रम में लोगों को पारम्परिक गैर पारम्परिक ऊर्जा के अन्तर को समझाया गया और पारम्परिक ऊर्जा को बचाने के लिए प्रेरित किया गया। इस अवसर पर एकेडमी की फिरदौस खान ने लोगों को जागरूक करते हुए कहा कि दूसरे देशों की तरह भारत भी पारम्परिक ऊर्जा की कमी को लगातार झेल रहा है। अब यह बहुत जरूरी हो गया है कि पारम्परिक ऊर्जा की जगह गैर पारम्परिक ऊर्जा का ज्यादा से ज्यादा उपयोग किया जाये। गैर पारम्परिक ऊर्जा जैसे ज्वारीय ऊर्जा अक्षय ऊर्जा, पवन ऊर्जा, सौर ऊर्जा का उपयोग किया जाये।
इस अवसर पर एकेडमी के सेंटर हेड मसर्रत खाँन ने कहा कि रोजमर्रा की जिंदगी में सौर ऊर्जा और गोबर गैस का प्रयोग कर हमे गैर पारम्परिक ऊर्जा को बढ़ावा देना चाहिए जिसका लाभ हमारी आने वाली पीढ़ी को मिल सके। एकेडमी के सचिव मोहसिन खॉन ने कहा कि आज सरकार द्वारा ऊर्जा बचाने की मुहिम भी चलाई जा रही है जिसका उद्देश्य यह है कि हम गैर पारम्परिक ऊर्जा का इस्तेमाल, इसके फायदे एवं इसके उपयोग की तरीकों से लोगों को अवगत करायें क्योंकि सरकार के साथ ही साथ हम सब की यह जिम्मेदारी बनती है। मसरूल खॉन, असद खॉन, आशीष शुक्ला, जियाउरू रहमान, उमैर फारूक ने अपने विचार व्यक्त किये।