पाकिस्तान में शादी के चक्कर में दो भारतीय नागरिकों को जेल की हवा खानी पड़ी। पाकिस्तान की कराची की लांडी जेल से रिहाई होकर गुजरात व बागपत के कैदियों ने बताया कि शादी के लिए पाकिस्तान गए लेकिन सिर पर सेहरा तो बंधा नहीं, बल्कि हाथ में हथकड़ी जरूर लग गई। पाकिस्तान से रिहा हुए 60 भारतीय कैदी भारत पहुंचे। अटारी-वाघा के रास्ते भारत पहुंचे इन कैदियों में पांच सिविलियन और 55 मछुआरे शामिल हैं।
मंगलवार को रेडक्रास भवन अमृतसर में आपबीती सुनाते हुए गुजरात के राजकोट के सबेत हनीफ (33) ने बताया कि 5 साल पूर्व वह एक महीने के वीजा पर पाकिस्तान गया था। वह अपने मामा हुसैन मुल्ला की बेटी सनहा के साथ शादी करना चाहता था। वहां मंगनी भी हो गई और वहीं रहने के चक्कर में उसने अपना इंडियन पासपोर्ट फाड़ दिया। इसी दौरान किसी ने इसकी सूचना पुलिस को दे दी और वह पकड़ा गया। तीन महीने की सजा हुई और रिहाई के लिए उसे लंबा इंतजार करना पड़ा। अब सनहा ने वादा किया है कि वह भारत में आकर उसके साथ शादी करेगी।
बागपत के वाहिद खान (27) ने बताया कि साल 2017 को वह एक महीने के वीजा पर पाकिस्तान में कराची अपने चाचा के पास गया था। वहां शादी करना चाहता था, तो उसके चाचा ने 10 दिनों का वीजा बढ़वा दिया, इस दौरान उसका पासपोर्ट गुम हो गया। जब उसका चाचा इसकी जानकारी देने के लिए पुलिस के पास पहुंचा तो उसे गिरफ्तार कर लिया गया। उसे अदालत ने 45 दिन की जेल और 1 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई।
एक अन्य सिविलियन मुशर्रफ अली (65) ने बताया कि वह करीब 25 साल पहले सीमा पार कर पाकिस्तान चला गया था। वहां वह मजदूूरी करने लगा। लाहौर में रहने वाले अपने रिश्तेदारों के जरिए वह अपने भाई को कोलकता से पैसे भी भेजता। करीब 5 साल पहले पाक की सेना ने उसे पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया। दीव दमन के वड़ंगबाडा़ के बेलजी, दुुर्गेश, दीपक, बेबू और नैयन ने बताया कि अप्रैल 2017 में वह मछली पकड़ने के लिए समुद्र में उतरे थे। इस दौरान ही उन्हें पाक नेवी ने पकड़ लिया और जेल भेज दिया।
154 भारतीय कर रहे रिहाई की इंतजार
कराची की लांडी जेल से रिहा होकर भारत पहुंचे मछुआरों ने बताया कि अभी भी 154 भारतीय कैदी रिहाई की इंतजार में हैं। इनमें से 4 तो सिविलियन हैं जबकि 150 मछुआरे शामिल हैं। इनमें एक केरल और एक पटना का रहने वाला है। बता दें पाकिस्तान सरकार ने कराची की लांडी जेल में बंद अभी तक एक महीने में 360 बंदियों में रिहा किया है। इनमें करीब 350 मछुआरे शामिल हैं।