दिल्ली को नोएडा से जोड़ने वाले डीएनडी टोल मामले पर सुप्रीम कोर्ट आज सुनवाई करेगा. इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने टोल फ़्री रखने का आदेश दिया था. कोर्ट ने कंपनी को कहा था कि इस मामले में इनकम टैक्स ने भी अर्जी दायर की है और टोल कंपनी उसकी अर्जी पर जवाब दायर करे. इनकम टैक्स ने कहा था कि कंपनी टैक्स नहीं दे रही है, जबकि उनके ऊपर टैक्स बकाया है. वहीं कंपनी ने कहा था कि कोर्ट के आदेश के बाद हम टोल वसूल नहीं कर पा रहे है.
नोएडा टोल कंपनी ने कहा था कि मामले की सुनवाई जल्द की जाए क्योंकि मामले के लंबित होने से कंपनी का हित प्रभावित हो रहा है. सुप्रीम कोर्ट ने कैग रिपोर्ट टोल कंपनी समेत सभी पक्षकारों को देने का निर्देश दिया था. कोर्ट ने कहा था कि हमें कोई कारण नहीं लगता कि ये रिपोर्ट सीलबंद ही रहे. टोल कंपनी ने कहा था कि कंपनी को रोजाना 50 लाख रुपये का नुकसान हो रहा है. दरअसल, इलाहाबाद हाईकोर्ट ने टोल को रद्द कर दिया था और इसे लेकर नोएडा टोल ब्रिज कंपनी ने सुप्रीम कोर्ट में हाईकोर्ट के आदेश को चुनौती दी थी.
आपको बता दें कि इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट के आदेश पर रोक लगाने से इंकार कर दिया था.सुप्रीम कोर्ट ने कैग को कंपनी के खातों की जांच कर रिपोर्ट दाखिल करने को कहा था.कैग ने जांच के बाद सीलबंद रिपोर्ट सौंप दी थी.सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया था कि कैग बताए कि टोल बनाने में कितना खर्च आया और कंपनी अब तक कितना टोल वसूल चुकी है. सुप्रीम कोर्ट ने टोल वसूलने पर लगी रोक हटाने से भी इंकार कर दिया था.