लखनऊ। प्रख्यात साहित्यकार पं. हरि ओम शर्मा ‘हरि’ ने आज अपनी पुस्तक ‘जीवन जियो जान से’ की एक प्रति प्रख्यात फिल्म अभिनेता श्री बोमन ईरानी को भेंट की। इस अवसर पर पुस्तक ‘जीवन जियो जान से’ की प्रशंसा करते हुए श्री बोमन ईरानी ने कहा कि यह पुस्तक वास्तव में प्रेरणादायी पुस्तक है, जो तीन पीढ़ियों के बीच समन्वय स्थापित करने में सक्षम है। ईरानी ने पुस्तक में गहरी रूचि दिखाई एवं प्रेरणादायी लेखन के लिए पं. शर्मा को हार्दिक बधाई दी और विश्वास जताया कि यह पुस्तक समाज के लिए एक मार्गदर्शक का कार्य करेगी। बोमन ईरानी से अपनी मुलाकात का जिक्र करते हुए पं. हरि ओम शर्मा ‘हरि’ ने कहा कि ईरानी से हुई मुलाकात एक यादगार अवसर साबित हुआ है। ईरानी बहुत ही सरल, सहज, सौम्य व्यक्तित्व व उच्च विचारों के मालिक हैं।
लेखक पं. हरि ओम शर्मा ‘हरि’ के निजी सचिव राजेन्द्र चौरसिया ने पुस्तक ‘जीवन जियो जान से’ की विशेषताओं पर प्रकाश डालते हुए बताया कि इस पुस्तक में पं. शर्मा ने शान से जीने की बजाए जान से जीवन जीने की सलाह दी है। वर्तमान दौर शानो-शौकत और दिखावे का है, परन्तु यह अंधी दौड़ कहां जाकर समाप्त होगी, कहना मुश्किल है और इसीलिए पं. शर्मा ने आत्मबल को जगाकर अपने हौसले के साथ जीवन को सार्थकता प्रदान करने का मूलमंत्र सुझाया है। श्री चौरसिया ने बताया कि पं. शर्मा जी हिन्दी साहित्य जगत के एक सशक्त हस्ताक्षर हैं और पिछले 40 वर्षों से लेखन के क्षेत्र में सक्रिय हैं। पं. शर्मा अभी तक 17 पुस्तकें लिख चुके हैं और उनका लेखन अभी अनवरत जारी है। पं. शर्मा मुख्यतः किशोरों, युवाओं व महिलाओं व सामाजिक उत्थान के विषय पर लिखते रहे हैं। पं.शर्मा की पुस्तकें समाज के लिए सभी वर्गों के लिए अत्यन्त उपयोगी हैं।