कर्नाटक में सत्तारूढ़ गठबंधन सरकार से दो निर्दलीय विधायकों द्वारा समर्थन वापस लेने के एक दिन बाद अब तक साफ तस्वीर साफ नहीं हो पाई. सबसे जेहन में एक ही सवाल है कि क्या गुरुवार 17 जनवरी को कुमारस्वामी सरकार गिर जाएगी. कुमारस्वामी ने खुद कहा था कि कर्नाटक के स्थानीय मीडिया में कुछ इस तरह की खबर चल रही है. इस बीच, मीडिया की खबरों के मुताबिक कुमारस्वामी सरकर के लिए राहत की खबर आ रही है. मुंबई में ठहरे कांग्रेस के चार असंतुष्ट विधायकों में से एक ने पार्टी का साथ नहीं छोड़ने का फैसला किया है. हालांकि, जारकीहोली और कुछ अन्य विधायक मुंबई के एक होटल में हैं.
इसी बीच, कांग्रेस महासचिव के. सी. वेणुगोपाल ने बुधवार को कहा कि उनकी पार्टी से एक भी नेता अलग होने वाला नहीं है. उन्होंने कहा कि स्पष्ट तस्वीर कल उभरेगी. उन्होंने बताया, “एक भी विधायक कांग्रेस छोड़ने नहीं जा रहा है. मैंने अपने विधायकों से संपर्क किया है और इसलिए मैं आपसे पूरे विश्वास के साथ कह रहा हूं. वास्तव में बृहस्पतिवार की शाम तक कर्नाटक के बारे में तस्वीर स्पष्ट होगी.”
वेणुगोपाल मीडिया में आई एक खबर पर जवाब दे रहे थे कि रमेश जारकीहोली के नेतृत्व में कांग्रेस के कुछ विधायक पार्टी छोड़कर भाजपा में शामिल होने की योजना बना रहे हैं ताकि कुमारस्वामी की सरकार को गिराया जा सके. जारकीहोली को पिछले महीने कैबिनेट से हटा दिया गया था. खबर है कि उन्हें भाजपा के शीर्ष नेताओं के साथ देखा गया और वे अक्सर कैबिनेट और पार्टी की बैठकों से नदारद रहे. परिणामस्वरूप उनका मंत्रालय उनके भाई सतीश जारकीहोली को सौंप दिया गया.
जल्दी समाप्त हो जाएगा गतिरोध : कुमारस्वामी
कर्नाटक में राजनीतिक उथल-पुथल के बीच मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी ने बुधवार को विश्वास जताया कि मौजूदा संकट जल्दी ही टल जाएगा. साथ ही उन्होंने विपक्षी दल भाजपा कर सरकार को अस्थिर करने के लिए ‘परेशानियां’ पैदा करने का भी आरोप लगाया. बेंगलुरू में बजट बनाने में व्यस्त मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से मुलाकात और कैबिनेट से कांग्रेस के चार मंत्रियों के इस्तीफे की संभावनाओं की खबरों से भी इनकार किया. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि कांग्रेस-जेडीएस के संबंध मजबूत हैं और 2019 लोकसभा चुनाव दोनों साथ मिलकर लड़ेंगे.