बांग्लादेश में संसदीय चुनाव के लिए कड़ी सुरक्षा के बीच रविवार की सुबह मतदान शुरू हो गया. मतदान से पहले कई सप्ताह तक चले प्रचार के दौरान काफी हिंसा हुई और सरकार पर विपक्षी कार्यकर्ताओं के खिलाफ कार्रवाई करने के आरोप लगे. स्थानीय समयानुसार सुबह आठ बजे शुरू हुए मतदान में भाग लेने के लिए महिलाओं सहित हजारों की संख्या में लोग पहुंच रहे हैं. वहीं मतदान के दौरान हिंसा भी हुई. इसमें एक व्यक्ति की मौत हो गई.
राजधानी में ढाका सिटी सेन्टर कॉलेज में सबसे पहले प्रधानमंत्री शेख हसीना ने वोट डाला. हसीना के रिश्तेदार एवं पार्टी सांसद फजले नूर तापस इस सीट से चुनाव लड़ रहे हैं. हसीना ने कहा, ‘‘उदारवादी बलों को जीत दिलाने के लिए लोग आवामी लीग के पक्ष में मतदान करेंगे.’’
एक ओर जहां हसीना चौथी बार प्रधानमंत्री बनने के लिए चुनाव लड़ रही हैं, वहीं दूसरी ओर जेल में बंद उनकी चिर प्रतिद्वंदी खालिदा जिया का भविष्य अधर में लटका नजर आता है. सूचनाओं के मुतबिक जिया आंशिक रूप से लकवाग्रस्त हैं.
हजारों सैनिकों और अर्द्धसैनिकों सहित छह लाख सुरक्षाकर्मियों को स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने के लिए तैनात किया गया है. देश में 10.41 करोड़ मतदाता पंजीकृत हैं. सुरक्षा एजेंसियों से धार्मिक अल्पसंख्यक समुदायों की सुरक्षा पर विशेष ध्यान देने को कहा गया है क्योंकि मीडिया में ऐसी खबरें आई हैं कि 16 से 26 दिसंबर के बीच शरारती तत्वों ने हिन्दुओं के तीन घरों को जला दिया.
बांग्लादेश के टेलीकॉम नियामक ने रविवार मध्यरात्रि तक मोबाइल 3जी/4जी सेवा बंद करने का आदेश दिया है, ताकि चुनावों के दौरान अशांति फैलाने वाली अफवाहों से बचा जा सके. 1971 में पाकिस्तान से आजादी मिलने के बाद बांग्लादेश में यह 11वां आम चुनाव है. चुनाव आयोग के मुताबिक, 300 संसदीय सीटों में से 299 सीटों पर चुनाव हो रहा है जिसके लिए 1,848 उम्मीदवार मैदान में हैं. चुनाव के लिए 40,183 मतदान केन्द्र बनाए गए हैं.
वहीं बांग्लादेश में रंगमती के कावखाली में रविवार को सत्तारूढ़ अवामी लीग और विपक्षी बीएनपी समर्थकों के बीच झड़प में जुबो लीग के एक नेता की मौत हो गई और 10 अन्य लोग घायल हुए हैं. ‘जुबो लीग’ अवामी लीग की युवा शाखा है. ‘बीडीन्यूज24’ की खबर के अनुसार मृतक की जुबो लीग के महासचिव मोहम्मद बसीर उद्दीन के तौर पर हुई है.