पटना, नालंदा, भोजपुर, मुजफ्फरपुर, जहानाबाद, अरवल, सारण, वैशाली के अभ्यर्थियों को गांधी मैदान में आयोजित समारोह में नियुक्ति पत्र दिया गया। उन्होंने कहा कि जब हम लोगों को यहां काम करने का मौका मिला तो शिक्षा के क्षेत्र में बेहतरी के लिए कई कदम उठाए गए। शिक्षकों की कमी को देखते हुए वर्ष 2006-07 से पंचायत एवं नगर निकायों के माध्यम से बड़े पैमाने पर नियोजित शिक्षकों की नियुक्ति की गई थी। इसके बाद से लगातार शिक्षकों की बहाली की जा रही है।
वर्ष 2023 के बाद से सरकारी शिक्षकों की बहाली के लिए बिहार लोक सेवा आयोग द्वारा परीक्षा ली गई। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने नियोजित शिक्षकों को भी परीक्षा के माध्यम से सरकारी शिक्षक बनाने वाले फैसले के बारे में बताया। इस क्रम में उन्होंने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि पहले की सरकार ने कोई काम नहीं किया था। उन्होंने प्रदेश में लड़कियों को शिक्षित बनाने और शिक्षकों के विकास के लिए किए जा रहे कामों को भी गिनाया। बताया गया कि कुल चयनित प्रारंभिक शिक्षकों में 56 प्रतिशत महिलाएं हैं।
मुख्यमंत्री ने नवनियुक्त शिक्षकों को बधाई और शुभकामना देते हुए कहा कि आप बेहतर ढंग से अपनी जिम्मेदारी का निर्वहन करते रहें। इस कार्यक्रम में उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी, उपमुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा, मंत्री विजय चौधरी, शिक्षा मंत्री सुनील कुमार भी उपस्थित रहे। उल्लेखनीय है कि बीपीएससी से पहले चरण में 1.20 लाख, दूसरे चरण में 96,823 शिक्षकों की बहाली हुई थी।