संतकबीरनगर। विकासखंड बघौली के अंतर्गत ग्राम सभा बालू शासन में चल रही श्रीमद्भागवत कथा के तृतीय दिवस में आचार्य धरणीधर जी ने कहा निश्चल मनसे केवल एक मात्र भगवान का ही श्रवण मनन और चिंतन करना चाहिए। शुकदेव जी कहते है मेरा मन निर्गुण ब्रह्म में स्थित था फिर भी भगवान की लीलाओं से आकृष्ट होकर मैंने श्रीमद् भागवत कथा का अध्ययन अपने पिताजी से किया शुकदेव जी ने कहा राजन वही मैं तुमको सुनाता हूं क्योंकि तुम भगवान के अनन्य भक्त हो। उसके श्रवण से शीघ्र ही भगवान में तुम्हारा अनुराग हो जाएगा। कामी पुरुषों के सत्तत् फलो का साधन मुमुक्षु पुरुषों के मोक्ष का साधन और योगी तथा ज्ञानी पुरुषों के जीवन का मुख्य फल भगवन नाम कीर्तन ही बताया गया है। उसमें किसी प्रकार का भय नहीं है। राजन जो वर्ष बीत गए उसकी चिंता छोड़ दो राजा खटवांग ने एक मुहूर्त में ही अपना परलोक बना लिया था। तुम्हारे जीवन की अवधि तो अभी 7 दिन शेष है तुम सरलता से अपना परलोक बना सकते हो।
अंतकाल आने पर मनुष्य को घबराना नहीं चाहिए। स्त्री और पुत्रों की ममता त्याग कर किसी पुण्य तीर्थ में चले जाना चाहिए वहां स्नान आदि से शुद्ध होकर भगवान के नाम का जप करना चाहिए और धीरे-धीरे विषयों से मन को हटा कर भगवान के स्वरूप में लगा देना चाहिए। इस ब्रम्हांड में चौदह लोक हैं। वह भगवान के शरीर के अवयव कहे गए हैं। जिससे भगवान श्री कृष्ण में प्रेम लक्षणा भक्ति हो वही उत्तम साधन है। इसलिए मनुष्यों को सर्वदा भगवान श्री कृष्ण का ही श्रवण चिंतन और कीर्तन करना चाहिए। इससे उनका विषयों से दूषित अंतर कर्ण शुद्ध हो जाता है और वह भगवान श्री कृष्ण के चरण कमलों की सान्निधि में शीघ्र पहुंच जाते हैं। जिन भगवान के चरण कमलों के ध्यान से निर्मल हुई बुद्धि से योगी जन आत्म तत्व का साक्षात्कार करते हैं एवं अपनी रूचि के अनुसार उनका महत्व दान करते हैं। वह सर्वविदित संकटों से मुक्ति देने वाले भगवान मुझ पर प्रसन्न रहे मैं उनको नमन करता हूं।
इस अवसर सपा नेता पूर्व मेहदावल विधानसभा प्रत्याशी जयराम पाण्डेय ने कहा भगवान के नाम हमे सदैव संकीर्तन करते रहना चाहिए मुख्य यजमान के रूप में ग्राम प्रधान प्रतिनिधि इन्द्रेव राय (फागू राय), वेदप्रकाश राय, विजय राय, विपिन राय, अनिल राय, सतीश राय, गोलू राय, धीरज राय, लालबहादुर राय, नरेन्द्र राय, रामसिंह राय, राजेश पाण्डेय, जयप्रकाश राय, रामकमल राय सहित श्रोता उपस्थित रहे।