HAL के ट्रेनिंग जेट ‘सितारा’ को अब नया नाम ‘यशस्’ मिला, जानिए क्या है इस ट्रेनर की खासियत

HJT-36 के उन्नत संस्करण ‘यशस्’ को भारतीय वायुसेना के लिए प्रशिक्षण और संचालन में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए डिज़ाइन किया गया है. यह न केवल आधुनिक सैन्य पायलटों की जरूरतों को पूरा करेगा, बल्कि भारतीय वायुसेना के प्रशिक्षण प्लेटफॉर्म के तौर पर एक नई पहचान भी स्थापित करेगा.‘

हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) ने अपने प्रमुख ट्रेनिंग विमान HJT-36 को एक नया नाम ‘यशस्’ दिया है. पहले इसे ‘सितारा’ के नाम से जाना जाता था, लेकिन विमान में व्यापक तकनीकी सुधारों और इसकी नई क्षमताओं को ध्यान में रखते हुए इसका नाम बदला गया है. रक्षा उत्पादन सचिव श्री संजीव कुमार ने आज चल रहे एरो इंडिया 2025 कार्यक्रम में HAL के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक डॉ. डी के सुनील की उपस्थिति में इसका अनावरण किया.

‘सितारा’ से ‘यशस्’ तक की यात्रा

HJT-36, जिसे पहले ‘सितारा’ के नाम से जाना जाता था, भारतीय वायुसेना के पायलटों के लिए एक महत्वपूर्ण प्रशिक्षण प्लेटफॉर्म रहा है. लेकिन हालिया तकनीकी उन्नयन और व्यापक सुधारों ने इसे और अधिक उन्नत और प्रासंगिक बना दिया है. HAL ने इसकी नई पहचान के प्रतीक के रूप में इसे ‘यशस्’ नाम दिया है, जो इसके उन्नत और सफल प्रदर्शन का प्रतिनिधित्व करता है.

डॉ. डी के सुनील, चेयरमैन, HAL ने कहा, “HJT-36 के मूल डिज़ाइन में बड़े पैमाने पर बदलाव किए गए हैं. इन सुधारों ने विमान की क्षमताओं में महत्वपूर्ण वृद्धि की है. इस नई शुरुआत के साथ इसे ‘यशस्’ नाम दिया गया है, जो इसकी सफलता और महत्व को दर्शाता है.”

तकनीकी उन्नयन और नई क्षमताएं

‘यशस्’ को अत्याधुनिक एवियोनिक्स और एक आधुनिक कॉकपिट से लैस किया गया है. ये अपग्रेड न केवल इसकी प्रशिक्षण प्रभावशीलता को बढ़ाते हैं, बल्कि संचालन को अधिक कुशल बनाते हैं. आयातित उपकरणों के स्थान पर भारतीय तकनीक आधारित LRUs के उपयोग ने वजन को भी कम किया है.

यशस् की खासियतें

स्टेज II पायलट प्रशिक्षण

आतंकवाद विरोधी अभियानों और सतही बलों के खिलाफ संचालन में उपयोग

1000 किलोग्राम तक के हथियार ले जाने की क्षमता

एरोबेटिक्स और शस्त्र प्रशिक्षण

तकनीकी ताकतें

  • FADEC नियंत्रित AL-55I जेट इंजन, जो उच्च thrust-to-weight अनुपात और भरोसेमंद प्रदर्शन प्रदान करता है.
  • बेहतर दृश्यता के लिए ड्रूप नोज़ और स्टेप्ड रियर कॉकपिट.
  • ग्लास कॉकपिट में मल्टी-फंक्शनल डिस्प्ले (MFD) और हेड-अप डिस्प्ले (HUD).
  • सिंगल पॉइंट ग्राउंड रीफ्यूलिंग और डिफ्यूलिंग.

‘यशस्’ का महत्व

HJT-36 के उन्नत संस्करण ‘यशस्’ को भारतीय वायुसेना के लिए प्रशिक्षण और संचालन में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए डिज़ाइन किया गया है. यह न केवल आधुनिक सैन्य पायलटों की जरूरतों को पूरा करेगा, बल्कि भारतीय वायुसेना के प्रशिक्षण प्लेटफॉर्म के तौर पर एक नई पहचान भी स्थापित करेगा.‘सितारा’ से ‘यशस्’ तक का यह बदलाव HAL के निरंतर नवाचार और आत्मनिर्भर भारत के लक्ष्य की दिशा में एक और कदम है.

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