व्लादिमीर पुतिन का बड़ा बयान, जानिए- PM मोदी के शुक्रगुजार क्यों हैं रूसी राष्ट्रपति

 रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तारीफ की है. पुतिन ने कहा कि हम पीएम मोदी के शुक्रगुजार हैं. बता दें कि पीएम मोदी 22-23 अक्टूबर को फिर रूस यात्रा पर जाएंगे.

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तारीफ की है. यूक्रेन के संघर्ष पर पुतिन ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी से बातचीत के दौरान हर बार उन्होंने इस मुद्दे को उठाया है और अपनी चिंताएं जाहिर की हैं. इसके लिए हम उनके शुक्रगुजार हैं. पुतिन ने ये बातें एक कार्यक्रम के दौरान कुछ लोगों को संबोधित करते हुए कहीं हैं. इससे पहले भी पुतिन ने कहा था कि यूक्रेन के साथ शांति की बातचीत में भारत मिडिएडर बन सकता है.

‘हमने नहीं, यूक्रेन ने रोकी बातचीत’

रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने कहा, ‘रूस यूक्रेन संकट को शांतिपूर्ण तरीके से समाप्त करने के इच्छुक हैं. ये हम नहीं थे, जिन्होंने वार्ता रोकी, बल्कि यह यूक्रेनी पक्ष था.’

साथ ही पुतिन ने आगामी ब्रिक्स सम्मेलन को लेकर कहा कि, ‘ब्रिक्स का उद्देश्य कभी किसी के विरुद्ध नहीं था. भारतीय प्रधानमंत्री (नरेंद्र मोदी) ने कहा कि ब्रिक्स कोई पश्चिम विरोधी समूह नहीं है, यह एक गैर-पश्चिमी समूह है.’ बता दें कि पुतिन ने पीएम मोदी को इस सम्मेलन में शामिल होने के लिए विशेष न्योता दिया है.

22-23 अक्टूबर को रूस का दौरा करेंगे पीएम

रूसी राष्ट्रपति पुतिन का ये बयान ऐसे समय में आया है जब पीएम मोदी 16वें ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए 22-23 अक्टूबर को रूस का दौरा करेंगे. विदेश मंत्रालय ने आज यानी शुक्रवार को कहा कि प्रधानमंत्री ग्रुप मेंबर्स के नेताओं और अन्य आमंत्रितों के साथ द्विपक्षीय बैठकें भी करेंगे. यह इस साल प्रधानमंत्री मोदी की रूस की दूसरी यात्रा है. बता दें कि इस बार ब्रिक्स शिखर सम्मेलन रूस की अध्यक्षता में कजान में आयोजित हो रहा है.

किन-किन मुद्दों पर हो सकती है बात

ब्रिक्स शिखर सम्मेलन 2024 में ग्लोबल डेवलपमेंट, सुरक्षा और आपसी साझेदारी को मजबूत बनाने पर बातचीत हो सकती है. यह सम्मेलन अन्य प्रमुख वैश्विक मुद्दों जैसे रूस-यूक्रेन युद्ध, इजरायल-ईरान-हमास-हिजबुल्लाह संघर्ष पर चर्चा करने के लिए एक महत्वपूर्ण मंच प्रदान करेगा. बयान में कहा गया कि शिखर सम्मेलन ब्रिक्स की ओर से शुरू की गई पहलों का आकलन करने. भविष्य में सहयोग के लिए संभावित क्षेत्रों की पहचान करने का एक मूल्यवान अवसर होगा.

रूसी राष्ट्रपति के सहायक यूरी उशाकोव के अनुसार, कजान में ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में 24 देशों के नेता और कुल 32 देशों के प्रतिनिधिमंडल भाग लेंगे, जिससे यह रूस में अब तक का सबसे बड़ा विदेश नीति कार्यक्रम बन जाएगा. मुख्य ब्रिक्स मीटिंग के अलावा, ब्रिक्स+ फॉर्मेट में ब्रिक्स और ग्लोबल साउथ: मिलकर विश्व के भविष्य का निर्माण, विषय पर बैठकें होंगी. इसमें एशिया, अफ्रीका, मध्य पूर्व और लैटिन अमेरिका के प्रतिनिधि शामिल होंगे.

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