हाल में एससी/एसटी एक्ट में हुए संशोधन के खिलाफ आवाज उठाने वाले प्रसिद्ध कथावाचक देवकीनंदन ठाकुर महाराज के नेतृत्व वाले अखंड भारत मिशन ने सूबे की सभी 230 सीटों पर प्रत्याशी उतारने का ऐलान किया है. एससी/एसटी एक्ट के खिलाफ आंदोलन खड़ा करने के लिए ‘अखंड भारत मिशन’ नाम का एक संगठन बनाया गया है और देवकीनंदन ठाकुर को इस दल का राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया गया है.
दैनिक भास्कर की रिपोर्ट के मुताबिक चुनाव लड़ने के फैसले के साथ ही देवकीनंदन ठाकुर 29 अक्टूबर को नई पार्टी के नाम और उसके चिह्न की घोषणा करेंगे. उल्लेखनीय है कि अखंड भारत मिशन एससी/एसटी एक्ट में हुए किए गए संशोधन का विरोध करता है. इसकी मांग है कि बिना जांच के तुरंत गिरफ्तारी का जो प्रावधान एक्ट में है, उसे हटाया जाए.
देवकीनंदन ठाकुर
इस सिलसिले में एक्ट के विरोध के चलते पिछले दिनों 11 सितंबर को आगरा में देवकीनंदन ठाकुर को गिरफ्तार भी किया गया था. केंद्र सरकार द्वारा लाए गए एससी/एसटी एक्ट के खिलाफ सोशल मीडिया पर देवकीनंदन ठाकुर के कई संदेश वायरल हो रहे हैं. जिनमें वह सवर्ण जातियों को एससी/एसटी समुदाय के लोगों के सामाजिक कार्यों का बहिष्कार करने की बात कह रहे हैं. हालांकि इन संदेशों की कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं हो पाई है. इन संदेशों को लेकर विभिन्न सामाजिक संगठनों द्वारा आपत्ति दर्ज की जा रही है.
बताया जा रहा है कि एससी/एसटी एक्ट के खिलाफ देवकीनंदन ठाकुर ने आगरा के खंदौली में सवर्ण समाज की एक सभा का आयोजन किया था. प्रशासन ने कथा वाचक को इस आयोजन की अनुमति नहीं दी और उनके खंदौली में प्रवेश पर भी रोक लगा दी थी.
कथावाचक देवकीनंदन ठाकुर को मिल रही हैं जान से मारने की धमकी
उसके बाद 11 सितंबर की सुबह देवकीनंदन ठाकुर अपने समर्थकों के साथ आगरा के एक होटल में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे थे. इसी दौरान पुलिस वहां पहुंची और उन्हें हिरासत में लेकर पुलिस लाइन ले लाई. देवकीनंदन ठाकुर की गिरफ्तारी पर उनके समर्थकों में आक्रोश फैल गया और सैकड़ों की संख्या में लोग सड़कों पर उतरकर पुलिस तथा स्थानीय प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी करने लगे. देवकीनंदन ठाकुर ने पुलिस की इस कार्रवाई पर कहा कि पुलिस ने खंदौली में उनके प्रवेश पर रोक लगाई थी और वे कानून का पालन करते हुए खंदौली नहीं गए, लेकिन आगरा में पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया, यह सरासर लोकतंत्र की हत्या है.
हालांकि उसी दिन दोपहर बाद पुलिस ने देवकीनंदन ठाकुर को रिहा कर दिया. पुलिस ने उन्हें धारा 151 के तहत गिरफ्तार किया था और निजी मुचलका भरवाकर उन्हें रिहा कर दिया.