नई दिल्ली। तृण मूल कांग्रेस (टीएमसी) की ओर से केंद्र सरकार पर मनरेगा के मद में 15 हजार करोड़ रुपये का भुगतान नहीं करने के आरोपों पर भाजपा ने पलटवार किया है। भाजपा ने मनरेगा और अन्य योजनाओं में राज्य सरकार पर गंभीर भ्रष्टाचार करने के आरोप लगाते हुए इनकी सीबीआई जांच की मांग की है।
मनरेगा योजना के तहत बकाया राशि को लेकर तृणमूल कांग्रेस मंगलवार को जंतर मंतर पर धरना प्रदर्शन कर रही है। तृणमूल कांग्रेस का आरोप है कि मनरेगा के तहत केन्द्र सरकार ने राज्य सरकार को 15 हजार करोड़ रुपये का भुगतान नहीं किया।
भाजपा मुख्यालय में यहां मंगलवार को पत्रकार वार्ता में पं. बंगाल विधानसभा में नेता विपक्ष एवं भाजपा नेता सुवेंदु अधिकारी ने टीएमसी के इन आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया। उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव से पहले पश्चिम बंगाल में अपने खिसकते जनाधार को वापस लाने के लिए टीएमसी की ओर से यह राजनीतिक प्रोपेगंडा चलाया जा रहा है। टीएमसी के सारे आरोप झूठे हैं। यह मनगढ़ंत आरोपों को लेकर एक राजनीतिक अभियान के सिवाय कुछ नहीं है। उन्होंने आरोप लगाया कि तृणमूल कांग्रेस राज्य में पिछले 12 साल से सत्ता में है। वह कुछ फर्जी आरोपों के आधार पर और संघीय ढांचे की अवहेलना करके केंद्र के खिलाफ दिल्ली में विरोध प्रदर्शन का नाटक कर रही है। इनके सभी घोटालों की जांच सीबीआई से कराई जानी चाहिए।
सुवेंदु अधिकारी ने कहा कि जिस तरह से टीएमसी ने गांधी जयंती पर राजघाट पर समिति या दिल्ली पुलिस से अनुमति लिये बिना प्रदर्शन किया, उससे देश भर से गांधी जी को श्रद्धांजलि देने आ रहे लोगों को तीन घंटे तक परेशानी का सामना करना पड़ा। यह गुंडों की पार्टी है। यह आईएनडीआईए का हिस्सा है और इसके तीन एजेंडे हैं – वंशवाद, भ्रष्टाचार और तुष्टीकरण। उन्होंने टीएमसी के आरोपों का खंडन करते हुए कहा कि यूपीए के मुकाबले एनडीए की सरकार ने पश्चिम बंगाल को अधिक फंड जारी किया है। मनरेगा के तहत भी फंड जारी किया गया है।