मेवात के एक ऐलिमेंट्री स्कूल के अध्यापक की आज शिक्षक दिवस के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रशंसा की है। उन्होंने लड़कियों के ड्रॉपआउट रेट को काफी कम किया है। बता दें ये जिला हरियाणा का काफी पिछड़ा जिला है। पीएम मोदी ने ट्वीट कर कहा है, अध्यापक बसरुद्दीन खान ने लड़कियों की शिक्षा के प्रचार करने में अहम भूमिका निभाई है। इसके साथ ही उन्होंने बच्चों के नामांकन और पहचान के प्रति भी महत्वपूर्ण योगदान किया है। पीएम ने उन्हें नेशनल अवॉर्ड फॉर टीचर्स मिलने के लिए बधाई भी दी है।
मुस्लिम बहुत जिले के सरकारी स्कूलों में ड्रॉपआउट रेट 20 फीसदी रहता है। लेकिन कक्षा के उन खाली डेस्कों को गणित और विज्ञान के इस अध्यापक ने भरा। साथ ही उन्होंने वेक्सिनेशन के प्रति लोगों को जागरुक भी किया। इसके साथ ही वह गैर सरकारी संस्थान ‘उड़ान’ की सेवाओं में भी शामिल हुए, जिसका मुख्य उद्देश्य ये सुनिश्चित करना है कि लड़कियां की पढ़ाई बीच में ही छोड़कर न जाएं।
जिन तीन गांवों में खान ने काम किया वहां छात्रों की उपस्थिति लगातार बढ़ने लगी। उन्होंने 1993 में झारपुरी स्कूल से अपने करियर की शुरुआत की थी। उस वक्त स्कूल में कक्षा 6-8 में स्कूल में कुल 20 छात्र थे। जब 2 साल बाद वह स्कूल छोड़कर गए तो वहां छात्रों की संख्या 57 तक हो गई। इसी तरह उन्होंने सिरोली गांव के स्कूल में 18 साल अपनी सेवी दी। जब उन्होंने स्कूल में पढ़ाना शुरू किया तब वहां 96 छात्र थे और जब वह स्कूल छोड़कर गए तब तक वहां छात्रों की संख्या 638 तक पहुंच गई। वहां उन्होंने 1995 से 2013 तक पढ़ाया।
बीते पांच साल से खान तप्पन के एक स्कूल में पढ़ा रहे हैं और यहां का इंफ्रास्ट्रक्चर सुधारने के लिए वह कई एजेंसी और एनजीओ की मदद ले चुके हैं। जिन्होंने 1.7 करोड़ का निवेश भी किया है। उनका कहना है कि छात्रों को हमें पढ़ाई में शामिल करना होता है। उन्हें प्रैक्टिकल तौर पर जब समझाया जाता है तो वह जल्दी सीखते हैं और उस चीज को जानने के प्रति उनमें उत्सुकता बढ़ती है। इसके बाद वह कभी पीछे मुड़कर नहीं देखते।