विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने फाइजर (Pfizer) और बायोएनटेक (BioNTech) की कोविड-19 वैक्सीन(Coronavirus Vaccine) के आपातकाल इस्तेमाल को गुरुवार को मंजूरी दे दी है। अब दुनियाभर के देशों के लिए रास्ते खुल गए हैं कि वह इस वैक्सीन के आयात और वितरण की जल्द अनुमति दे सकें। हालांकि, इससे पहले यह उम्मीद की जा रही थी कि डब्ल्यूएचओ चीन की वैक्सीन को मंजूरी दे सकता है। वैसे बता दें कि सबसे पहले ब्रिटेन ने फाइजर वैक्सीन को मंजूरी दी थी। इसके बाद वहां वैक्सीनेशन के अभियान की शुरुआत हो गई थी। ब्रिटेन के बाद अमेरिका, कनाडा और यूरोपीय संघ के अन्य देशों ने भी फाइजर वैक्सीन के इस्तेमाल की इजाजत दे दी। अब डब्ल्यूएचओ की मंजूरी के बाद अन्य देश भी इस ओर कदम बढ़ाएंगे।
इस अवसर पर डब्ल्यूएचओ की मैरियाएंगेला सिमाओ ने कहा, ‘दुनियाभर में कोरोना वायरस वैक्सीन की वैश्विक पहुंच सुनिश्चित करने की दिशा में यह बहुत उपयोगी पहल है। दुनियाभर की आबादी की जरूरत को देखते हुए वैक्सीन की पर्याप्त मात्रा में उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए वैश्विक स्तर पर बहुत अधिक प्रयास करने की आवश्यकता है। इस दिशा में भी गंभीरता से विचार करने किया जाए।’
गौरतलब है कि डब्ल्यूएचओ ने फाइजर वैक्सीन को अच्छी तरह परखने के बाद ही इसके आपातकालीन इस्तेमाल की मंजूरी दी है। संस्था ने अपने और दुनियाभर के विशेषज्ञों के फाइजर वैक्सीन के सुरक्षा, प्रभावकारिता और गुणवत्ता के आंकड़ों की समीक्षा की। समीक्षा में पाया गया है कि यह वैक्सीन संगठन की ओर से सुरक्षा और प्रभावकारिता के लिए निर्धारित मानकों पर खरा उतरती है। वैसे बता दें कि भारत में भी आज किसी वैक्सीन के आपातकालीन इस्तेमाल की मंजूरी मिल सकती है। इसे लेकर एक अहम बैठक आज होने वाली है। अगर आज किसी वैक्सीन के इस्तेमाल की मंजूरी मिल जाती है, तो विश्व के सबसे बड़े टीकाकरण अभियान की दिशा में यह महत्वपूर्ण कदम होगा।