सामूहिक विवाह में देखते देखते ही दूल्हे राजा के सारे ख्वाब चकनाचूर हो गए। प्रीतिभोज के बाद भांवर पडऩे की तैयारी हो चुकी थी, इससे पहले कि फेरे शुरू होते, पुलिस और चाइल्ड लाइन की टीम आ गई। पुलिस ने दूल्हे को हिरासत में लिया और थाने ले गई। यह नजारा देखकर सामूहिक विवाह समारोह स्थल में सनसनी फैल गई और शादी करने जा रहे अन्य जोड़े सहम गए।
महोबा से सटे मध्य प्रदेश के नौगांव कस्बे में सामूहिक विवाह सम्मेलन हो रहा था। सम्मेलन में थानाक्षेत्र अजनर के एक गांव निवासी 15 वर्षीय किशोरी की शादी इमलिया गांव के 40 वर्षीय व्यक्ति से हो रही थी। किसी जागरूक युवक ने मामले की जानकारी चाइल्ड लाइन तक पहुंचाई। चाइल्ड लाइन ने बाल कल्याण समिति को जानकारी दी और शादी रुकवाने का निवेदन किया। चाइल्ड लाइन टीम ने बताया कि 23 नवंबर को मंडप एवं प्रीतिभोज था, 24 नवंबर को दिन में शादी होनी थी।
सूचना मिलने पर श्रीनगर पुलिस ने दूल्हे को रात में हिरासत में लिया और अजनर पुलिस ने कन्या पक्ष को विवाह में जाने से रोक लिया। बाद में परिवार को बुलाकर दूल्हे को सौंप दिया और हिदायत दी कि किशोरी से शादी न करें। बाल कल्याण समिति की अध्यक्ष नीलम व केंद्र समन्वयक प्रेमचंद्र यादव ने बताया सूचना मिलते ही कार्रवाई के निर्देश दिए गए थे।
पहले से विचाराधीन है मामला
बाल कल्याण समिति की अध्यक्ष नीलम ने बताया कि किशोरी तीन माह पहले घर से भाग गई थी। इसका प्रकरण पहले से ही न्यायालय में विचाराधीन है। शपथपत्र लेकर किशोरी को उसके माता-पिता को सौंपा गया था। अब उसके बाल विवाह का मामला प्रकाश आया है। किशोरी के शैक्षणिक प्रपत्रों की जांच की गई, जिसमें वह नाबालिग है। स्वजन ने लिखित बयान में बालिग होने पर शादी करने की बात कही है। बाल विवाह प्रतिषेध अधिकारी को मामले से अवगत करा दिया गया है।