वाराणसी। उत्तर प्रदेश संघ लोक सेवा आयोग (यूपीपीएससी) परीक्षा धांधली मामले में परीक्षा नियंत्रक अंजू लता कटियार की गिरफ्तारी के बाद एसटीएफ वाराणसी इकाई और क्राइम ब्रांच टीम ने इस मामले में आरोपियों पर शिकन्जा कस दिया हैं। परीक्षा नियंत्रक अंजू कटियार से पूछताछ के बाद पूरे मामले में कुछ और अफसरों के शामिल होने की बात सामने आ रही हैं। गुरुवार को वाराणसी क्राइम ब्रांच टीम ने परीक्षा नियंत्रक अंजू लता कटियार को प्रयागराज से गिरफ्तार करने के बाद यहां वाराणसी लाकर घंटों उनसे पूछताछ के बाद न्यायालय में पेश किया। इसके पहले पुलिस टीम ने अंजू लता कटियार के मोबाइल और लैपटॉप को भी सील कर दिया।
एसपी क्राइम ब्रांच ज्ञानेन्द्र प्रसाद ने मीडिया को बताया कि एसटीएफ वाराणसी टीम ने दो दिन पूर्व गिरफ्तार कोलकाता के प्रिंटिंग प्रेस मालिक कौशिक कुमार से पूछताछ, मोबाइल कॉल डिटेल और वॉट्सऐप मेसेज से मिले ठोस सबूतों के आधार पर परीक्षा नियंत्रक अंजू लता को गिरफ्तार किया है। उन्होंने बताया कि छानबीन में मोबाइल में कई ऐसे संदेश मिले जिसमें उन्होंने अशोक देव चौधरी द्वारा कोलकाता सीआईडी से की गई शिकायत पर चिंता जताया। उन्होंने बताया कि 2018 में आयोजित एलटी ग्रेड शिक्षक भर्ती परीक्षा में गड़बड़ी के बारे में एसटीएफ के पत्र की अनदेखी हुई। प्रकाशक के खिलाफ मुकदमा लिखाने की सलाह को दरकिनार कर पुन: कौशिक को ही पेपर छापने का जिम्मेदारी देना अंजू लता की इसमें सलिप्तता का प्रमाण है। उन्होंने बताया कि पूछताछ और साक्ष्य के आधार पर अन्य आरोपियों को भी गिरफ्तार किया जाएगा।