फुटबॉल विश्व कप की प्रबल दावेदार मानी जा रही बेल्जियम ने फिश्ट स्टेडियम में खेले गए ग्रुप-सी के मैच में डेब्यू कर रही पनामा को फीफा विश्व कप के 21वें संस्करण में 3-0 के अंतर से हरा दिया. बेल्जियम ने सभी गोल दूसरे हाफ (47वें, 69वें, 75वें मिनट) में किए. पनामा बेशक इस मैच को गंवा बैठी, लेकिन पहली बार इतने बड़े टूर्नामेंट खेलने उतरी इस टीम ने पहले हाफ में जो प्रदर्शन किया वो काबिले तारीफ था.
पहला हाफ रहा बनामा के नाम
पहला हाफ एक तरीके से पनामा की जीत वाला साबित हुआ जिसने बेल्जियम को गोल करने के तमाम मौकों को भुनाने से रोक दिया. इसमें टीम के डिफेंस, कप्तान रोमान टोरेस और गोलकीपर जेइमे पेनेडो का अहम योगदान रहा. हालांकि, टीम अपने इस शानदार खेल दूसरे हाफ में जारी नहीं रख पाई और बेल्जियम ने उसे बैकफुट पर धकेल दिया.
पहले हाफ में बेल्जयम ने गंवाए कई मौके
शुरुआत में पहले ही मिनट में केविन डे ब्रूयन ने रोमेलू लुकाकु के पास गेंद डाल बेल्जियम के लिए मूव बनाया था जो विफल रहा. इसके बाद भी बेल्जियम ने कई मौके बनाए. छठे मिनट में मेयूनियर के प्रयास को पेनेडो ने रोक कर बेल्जियम को बढ़त नहीं लेने दी. ईडन हेजार्ड 26वें और 38वें मिनट में दो और मौकों पर गोल करने से चूक गए. पानामा ने भी 42वें मिनट में एक मूव बनाया, लेकिन अर्माडो कूपर का शॉट बार के ऊपर से चला गया.
47वें मिनट में बेल्जियम को मिली पहली सफलता
बेल्जियम ने अपने आप को दूसरे हाफ में पहले हाफ की असफलता से बाहर निकाला जिसका सकारात्मक परिणाम उसे महज दो मिनट बाद 47वें मिनट में मिल गया. बाएं तरफ से लुकाकु की तरफ गेंद आई जिसे पनामा के डिफेंडर ने हेडर के जरिए क्लियर कर दी, लेकिन गेंद ज्यादा दूर नहीं जा पाई और ड्राइस मर्टेस ने शानदार वॉली से गेंद को गोलपोस्ट में डाल बेल्जियम को 1-0 से आगे कर दिया.
लुकाकु ने दोगुनी की बेल्जियम की बढ़त
54वें मिनट में एक ऐसा मूव बना जिससे लगा कि मुरिलो पनामा को बराबरी पर ला देंगे, लेकिन बेल्जियम के गोलकीपर थिवुट कोर्टुआ ने ऐसा होने नहीं दिया. पनामा पहले गोल से उबरने की कोशिश में लगी थी. इसी बीच लुकाकु ने बेल्जियम के लिए दूसरा गोल कर उसकी बढ़त को दोगुना कर दिया. लुकाकु ने यह गोल 67वें मिनट में ब्रयून से मिले पास पर हेडर के जरिए किया.
लुकाकु यहीं नहीं रुके. उन्होंने 75वें मिनट में बेहद आसानी से पनामा के गोलकीपर के सिर के ऊपर गेंद को नेट में डाल अपनी टीम को 3-0 से आगे कर जीत को लगभग पक्की कर दी. पनामा इस अंतर को पाट नहीं पाई और न ही विश्व कप में गोल का खाता खोल पाई.