लखनऊ : अखिलेश यादव को अवैध खनन मामले में बसपा सुप्रीमो मायावती का साथ मिला है। मायावती ने सपा अध्यक्ष का बचाव करते हुए कहा कि अखिलेश के खिलाफ राजनीतिक विद्वेष से सीबीआई का इस्तेमाल किया जा रहा है। उन्होंने भाजपा पर राजनीतिक फायदे के लिए सरकारी मशीनरी का इस्तेमाल करने का आरोप लगाया। बसपा की ओर से सोमवार को अखिलेश के पक्ष में जारी बयान में बताया गया कि मायावती ने रविवार को सपा अध्यक्ष को फोन किया और कहा कि भाजपा द्वारा इस प्रकार की राजनीति करना इनका पुराना हथकंडा रहा है, जिसे जनता समझती है। बसपा, इन षडयंत्रों की भुक्तभोगी रही है।मायावती ने अखिलेश को डटकर मुकाबला करने और इस तरह के षडयंत्र को विफल करने की नसीहत दी है। उन्होंने कहा कि भाजपा की इस प्रकार की घिनौनी राजनीति एवं चुनावी षड़यंत्र कोई नई बात नहीं है। यह उनका पुराना हथकण्डा है जिसे देश की जनता अच्छी तरह से समझती है। इसका खामियाजा आने वाले लोकसभा आमचुनाव में भुगतने के लिये भाजपा तैयार रहना होगा।
बसपा सुप्रीमो ने कहा कि गठबंधन की खबर से भाजपा परेशान है। भाजपा की सरकार के इसारे पर लम्बित पड़े खनन मामले में सीबीआई ने एक साथ कई स्थानों पर छापेमारी की। इसके साथ ही यादव से भी पूछताछ करने सम्बंधी खबर जानबूझकर फैलाई। यह राजनीतिक विद्वेष तथा चुनावी षड़यंत्र के तहत सपा-बसपा गठबंधन को बदनाम और प्रताड़ित करने की कार्रवाई नहीं है तो और क्या है।उन्होंने कहा कि कांग्रेस की तरह भाजपा भी सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग करके अपने विरोधियों को फर्जी मामले में फंसाने में माहिर है। बसपा मूवमेन्ट भी इसका भुक्तभोगी रहा है। उन्होंने आरोप लगाया कि बसपा ने प्रदेश की लोकसभा की 80 में से 60 सीटे भाजपा को देना स्वीकार नहीं किया तो तब उन्हें ताज मामले में फर्ती तौर पर फंसा दिया गया था।