नौसेना के बंगाल क्षेत्र के ऑफिसर इन-चार्ज कमोडोर सुप्रभो डे ने सोमवार को कहा कि पश्चिम बंगाल में लगभग 70 फीसदी नौकाओं में स्वचालित ट्रैकर लगाए जा चुके हैं. कमोडोर डे ने कोलकाता में एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि केंद्रीय गृह मंत्रालय ने समंदर के रास्ते का इस्तेमाल कर आतंकी हमले की साजिशों को नाकाम करने के लिए देश में पंजीकृत सभी नौकाओं और पोतों में स्वचालित पहचान प्रणाली (एआईएस) लगाना अनिवार्य कर दिया है, ताकि उनके स्थान की सूचना मिल जाए. साथ में पोत की मिल्कियत समेत उसके विवरण की जानकारी हो सके.
उन्होंने कहा, ”मछली पकड़ने वाली नौकाओं समेत सभी पोतों में एआईएस लगाना जरूरी है, ताकि हम दोस्त और दुश्मन में फर्क कर सकें.” नौसेना अधिकारी ने कहा कि मुंबई में 26/11 को हुए आतंकवादी हमले से सबक सीखते हुए सभी नौकाओं में एआईएस लगाना जरूरी बनाया गया है. उल्लेखनीय है कि तब पाकिस्तानी आतंकवादी समंदर के रास्ते देश में पहुंचे थे. कमोडोर डे ने माना कि सभी मछुआरों के पास बायोमेट्रिक कार्ड और पंजीकृत नौकाएं नहीं हैं. इसके अलावा ट्रैकर लगाने में आने वाले खर्चे का मसला भी है. उन्होंने कहा, ”इन समस्याओं पर ध्यान दिया जा रहा है और हम निश्चित तौर पर आगे बढ़ रहे हैं.”