योनहाप न्यूज एजेंसी के मुताबिक उनके दफ्तर ने कहा कि प्रधानमंत्री ने दोनों देशों के गठबंधन को बनाए रखने और विकसित करने की कसम खाई।
हान के कार्यालय के अनुसार, उन्होंने कहा, हमारी सरकार बिना किसी रुकावट के हमारी कूटनीतिक और सुरक्षा नीतियों को लागू करेगी और यह सुनिश्चित करने के लिए काम करेगी कि दक्षिण कोरिया-अमेरिका गठबंधन बिना किसी बाधा के बना रहे और विकसित होता रहे।
हान ने उत्तर कोरिया की तरफ से परमाणु खतरे, मॉस्को और प्योंगयांग के बीच बढ़ते सहयोग जैसी आम चुनौतियों का सामना करने के लिए दक्षिण कोरिया-अमेरिका संयुक्त रक्षा रुख को मजबूत करने के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने यह भी बताया कि सभी राज्य मामलों को संविधान और कानून के अनुसार सख्ती से चलाया जाएगा।
हान के कार्यालय के अनुसार, बाइडेन ने स्पष्टीकरण के लिए हान को धन्यवाद दिया और दक्षिण कोरिया के लोकतंत्र में विश्वास व्यक्त किया।
व्हाइट हाउस के बयान के मुताबिक, राष्ट्रपति बाइडेन ने विश्वास जाहिर किया कि कार्यवाहक राष्ट्रपति हान के कार्यकाल के दौरान गठबंधन इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में शांति और समृद्धि के लिए मुख्य आधार बना रहेगा।
दक्षिण कोरिया की नेशनल असेंबली ने शनिवार को राष्ट्रपति यून सूक-योल के खिलाफ महाभियोग प्रस्ताव पारित किया था। मार्शल लॉ लागू करने के लिए उनके खिलाफ यह प्रस्ताव लाया गया था। इसके बाद यून को निलंबित कर दिया गया जबकि प्रधानमंत्री प्रधानमंत्री हान डक-सू ने कार्यवाहक राष्ट्रपति के रूप में कार्यभार संभाल लिया।
बता दें राष्ट्रपति यून ने मंगलवार (03 दिसंबर) रात को आपातकालीन मार्शल लॉ की घोषणा की, लेकिन बुधवार को संसद द्वारा इसके खिलाफ मतदान किए जाने के बाद इसे निरस्त कर दिया गया।
मार्शल लॉ कुछ घंटों के लिए ही लागू रहा। हालांकि चंद घटों के लिए लागू हुए मार्शल लॉ ने देश की राजनीति को हिला कर रख दिया।