लखनऊ । विकास भवन में तैनात ग्राम विकास अधिकारी सीमा कश्यप पर तीन लोगों के साथ सात लाख रुपये की धोखाधड़ी करने का आरोप है। पीड़ितों ने बाजारखाला कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया है। वीडीओ के परिवार वाले सर्वोकाश नाम से एक रियल एस्टेट कम्पनी चलाते हैं। जिसमें निवेश के लिए सीमा ने कई परिचितों को प्रेरित किया। लाखों रुपये लगवाने के बाद निवेशकों को मुनाफा नहीं दिया। मूलधन भी देने को आरोपी तैयार नहीं हुए। जिससे परेशान होकर निवेशकों ने बाजारखाला कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया है। इससे पूर्व आरोपियों के खिलाफ तालकटोरा थाने में भी एफआईआर दर्ज हुई थी।
पीड़ितों को ट्यूशन पढ़ाती थी आरोपी वीडीओ
मलिहाबाद महमदखेड़ा निवासी मोहित कुमार पाल ने बाजारखाला नेहरुक्रास निवासी सीमा कश्यप से ट्यूशन क्लास ली थी। मोहित के साथ ऐशबाग निवासी राहुल सोनकर और बाजारखाला भदेवां निवासी तानिया भी पढ़ते थे। पीड़ितों के मुताबिक कुछ वक्त पूर्व सीमा कश्यप का चयन ग्राम विकास अधिकारी के पद पर हो गया। विकास भवन में तैनात सीमा से अक्सर फोन पर बात होती रही। अप्रैल 2022 में वीडीओ ने फोन कर मोहित, राोहित और तानिया को अपने घर बुलाया। जहां सीमा ने भाई आर्यन कश्यप के सर्वोकाश के नाम से कम्पनी खोले जाने की जानकारी देते हुए रुपये लगाने के लिए कहा। पूछने पर बताया कि 25 प्रतिशत की दर से मुनाफा होगा। सीमा पर भरोसा कर मोहित, रोहित और तानिया ने मिल कर सात लाख रुपये का निवेश कर दिया। लेकिन उन्हें ब्याज नहीं दिया गया। फरवरी 2023 में मुलाकात होने पर सीमा, उसका भाई आर्यन और भतीजा सौरभ कश्यप टाल मटोल करने लगे। कई महीने बाद भी रुपये नहीं मिलने पर पीड़ितों ने मुख्यमंत्री को पत्र भेज कर शिकायत की। जहां से मिले आदेश पर बाजारखाला कोतवाली में सीमा कश्यप, आर्यन, सौरभ समेत नौ लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। इंस्पेक्टर बाजारखाला अजय नारायण सिंह ने बताया कि सर्वोकाश फर्म के खिलाफ फरवरी 2023 में तालकटोरा कोतवाली में केडी शर्मा ने एक करोड़ 20 लाख रुपये हड़पने का मुकदमा दर्ज कराया था।