भारतीय रिजर्व बैंक ने उत्तर प्रदेश के दो सहकारी बैंकों ( कोआपरेटिव बैंकों ) पर कई तरह की पाबंदियां लगाई हैं। ये दोनों बैंक हैं :
- लखनऊ शहरी सहकारी बैंक
- शहरी सहकारी बैंक लिमिटेड, सीतापुर
बैंकिंग विनियमन अधिनियम के तहत प्रतिबंध छह महीने तक लागू रहेंगे। दोनों बैंक आरबीआई की अनुमति के बिना कर्ज नहीं दे सकते हैं और कोई निवेश नहीं कर सकते हैं। रिजर्व बैंक ने कहा कि ये अंकुश इन बैंकों की बिगड़ती वित्तीय स्थिति को देखते हुए लगाए गए हैं। पाबंदियों में ग्राहकों द्वारा बैंक से निकासी की सीमा भी शामिल है।
केंद्रीय बैंक के बयान के मुताबिक, लखनऊ शहरी सहकारी बैंक के ग्राहक 30,000 रुपये से ज्यादा की निकासी नहीं कर पाएंगे।
दूसरी ओर शहरी सहकारी बैंक लिमिटेड, सीतापुर के मामले में निकासी की सीमा प्रति ग्राहक 50,000 रुपये है।
साथ ही दोनों बैंक आरबीआई की अनुमति के बिना कर्ज नहीं दे सकते हैं और कोई निवेश नहीं कर सकते हैं।