गोरखपुर, 7 जुलाई। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि देश और दुनिया ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में विगत नौ वर्षों में भारत की नई विकास यात्रा, आस्था के सम्मान और विरासत को पहचान मिलते देखा है। नौ सालों से समग्र विकास की अवधारणा तो साकार हो ही रही है, आस्था के सम्मान के साथ विरासत को नई पहचान मिल रही है। यह नया भारत है और नया भारत पीएम मोदी का अनुगामी बनकर, उनके बताए मार्ग का अनुसरण कर देश को दुनिया की सबसे बड़ी ताकत बनाने के संकल्पों से जुड़कर आगे बढ़ रहा है।
सीएम योगी शुक्रवार को गीता प्रेस के शताब्दी वर्ष समापन समारोह को संबोधित कर रहे थे। समारोह के मुख्य अतिथि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का स्वागत करते हुए मुख्यमंत्री ने पीएम मोदी को नये भारत का निर्माता, भारत माता का महान सपूत व वैश्विक मंचों पर भारत को पहचान दिलाने वाला नेतृत्वकर्ता बताया और महयोगी गुरु गोरखनाथ की धरा पर शासन व प्रदेश की जनता की ओर से अभिनंदन किया। मुख्यमंत्री ने पीएम के नेतृत्व में विरासत, आस्था और विकास की प्रगति यात्रा का उल्लेख करते हुए कहा कि योग भारत की अति प्राचीन विधा है। पीएम मोदी ने पहली बार इसे वैश्विक मान्यता दिलाई। प्रधानमंत्री के प्रस्ताव पर संयुक्त राष्ट्र संघ ने 21 जून को विश्व योग दिवस के रूप में स्वीकार किया। दुनिया के 180 देश योग का प्रसाद व उपहार ग्रहण कर भारत के प्रति कृतज्ञता ज्ञापित कर रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वैश्विक मंचों पर भारत का सम्मान बढ़ाया है। दुनिया के देशों, पापुआ न्यू गिनी, फिजी, आस्ट्रेलिया, जर्मनी, जापान या दुनिया का दादा कहे जाने अमेरिका में प्रधानमंत्री की लोकप्रियता 140 करोड़ देशवासियों का गौरव बढ़ाती है और सभी नागरिकों को आगे बढ़ने की प्रेरणा देती है। मुख्यमंत्री ने पीएम मोदी के लिए गीता के श्लोक,यद्यदाचरति श्रेष्ठस्तत्तदेवेतरो जनः । स यत्प्रमाणं कुरुते लोकस्तदनुवर्तते, का उद्धरण देते हुए कहा कि श्रेष्ठ लोग जो आचरण करते हैं, उसका अनुसरण अन्य लोग भी करते हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि 2019 के कुंभ को यूनेस्को की तरफ से विश्व मानवता की अमूर्त सांस्कृतिक धरोहर माना गया। पीएम मोदी के नेतृत्व में आस्था के सम्मान व आस्था के स्थलों की पुनर्स्थापना का कार्य आज सबके सामने है। काशी में बाबा विश्वनाथ का भव्य धाम हो, केदारनाथ में केदारपुरी, महाकाल का महालोक या फिर 500 वर्षों के इंतजार के बाद अयोध्या में हो रहा भगवान श्रीराम के भव्य मंदिर का निर्माण, एक-एक करके सभी पूर्ण होते जा रहे हैं।
सीएम योगी ने कहा कि पीएम मोदी के नेतृत्व में नौ सालों में गरीब कल्याण की जितनी योजनाएं चलीं उतनी देश में आजादी के बाद कभी नहीं चली थीं। यही नहीं दुनिया का कोई भी देश गरीब कल्याण की इन योजनाओं के पैमाने पर नहीं पहुंच पाया है। पीएम मोदी के नेतृत्व में विकास के साथ धरोहर को पहचान और आस्था के सम्मान का अद्भुत संगम प्रवाहित है।
पीएम के मार्गदर्शन में आस्था और विकास की नई यात्रा
सीएम योगी ने कहा कि पीएम मोदी के मार्गदर्शन में उत्तर प्रदेश और गोरखपुर में भी आस्था और विकास की नई यात्रा शुरू हुई है। गोरखपुर में 30 साल तक बंद रहा खाद कारखाना आज 110 प्रतिशत क्षमता से चल रहा है। जिस एम्स की कल्पना नहीं की जाती है, वह साकार होकर पूर्वी उत्तर प्रदेश, पश्चिमी बिहार और नेपाल तक के लोगों की चिकित्सा सेवा कर रहा है। इंसेफेलाइटिस जैसी बीमारियों पर लगाम लगाने के लिए शोध व जांच को आईसीएमआर (इंडियन काउंसिल फॉर मेडिकल रिसर) का रीजनल सेंटर गोरखपुर में खोला गया है। जो रामगढ़ताल पहले अपराधियों का अड्डा था वह आज शानदार सरोवर के रूप में नई पहचान हासिल कर चुका है। सीएम योगी ने उड़ान योजना का जिक्र करते हुए कहा कि 2017 के पूर्व गोरखपुर से एक फ्लाइट की सेवा थी, आज 14 फ्लाइट की सेवा है। आज तो गोरखपुर-लखनऊ के बीच नए भारत की नई ट्रेन वंदे भारत का भी पीएम मोदी के हाथों शुभारंभ हो रहा है।
गीता की मूल आत्मा को झंकृत किया पीएम मोदी ने
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि गीता प्रेस की 100 वर्ष की शानदार यात्रा पूरी हुई है। आजादी के 75 वर्ष बाद भी कभी कोई प्रधानमंत्री नहीं आए थे। आज प्रधानमंत्री ने यहां आकर गीता की मूल आत्मा को झंकृत कर दिया है। पहली बार आकर प्रधानमंत्री ने गीता प्रेस को न केवल सम्मान दिया बल्कि पीएम की अध्यक्षता में गठित ज्यूरी ने ही गीता प्रेस को गांधी शांति पुरस्कार दिया। यह सम्मान गीता प्रेस ही नहीं, भारत की हर धरोहर का सम्मान है। मुख्यमंत्री ने कहा कि 100 वर्ष की यात्रा में गीता प्रेस ने अनेक उतार चढ़ाव देखे हैं। यह अब 100 करोड़ पुस्तकों के प्रकाशन की ओर अग्रसर है। प्रत्येक भारतीय भाषा में इसके प्रकाशित ग्रंथ हर सनातनी के घर में मौजूद मिलते हैं। गीता प्रेस शताब्दी वर्ष की पूर्णता पर मुख्यमंत्री ने सभी को शुभकामनाएं देते हुए विश्वास व्यक्त किया कि संस्था संस्थापकों की भावनाओं के अनुरूप अपने संकल्पों पर प्रतिबद्ध होकर आगे बढ़ती रहेगी।