सार्वजनिक क्षेत्र की दूरसंचार कंपनी भारत संचार निगम लिमिटेड और महानगर टेलीफोन निगम लिमिटेड के भविष्य का फैसला जल्द होने की उम्मीद है. बीएसएनएल और एमटीएनएल को क्या रिवाइव यानी पुर्नजीवित किया जा सकता है या नहीं, इस पर जल्द ही फैसला होने की उम्मीद है. इस क्रम में गुरुवार देर रात तक प्रधानमंत्री कार्यालय में अहम बैठक हुई. बैठक में बीएसएनएल और एमटीएनएल को दोबारा पटरी पर लाने के संबंध में विस्तत चर्चा हुई. सूत्रों के मुताबिक, प्रधानमंत्री कार्यालय की तरफ से अगले 4-5 दिन का समय दिया गया है, जिसमें सचिवों की कमेटी इस बात के निष्कर्ष पर पहुंचेगी कि क्या बीएसएनएल और एमटीएनएल को पुनर्जीवित किया जा सकता है या नहीं.
अगर कमेटी यह सिफारिश करती है कि बीएसएनएल और एमटीएनएल को दोबारा पटरी पर लाया जा सकता है, तो फिर केंद्र सरकार की तरफ से बीएसएनएल और एमटीएनएल के लिए फॉर्मूला निकाला जाएगा जिससे घाटे में चल रही दोनों सार्वजनिक कंपनियों को दोबारा से पटरी पर लाया जा सके. सूत्रों के मुताबिक, अगर सचिवों की कमेटी बीएसएनएल और एमटीएनएल के रिवाइवल को हरी झंडी दे देती है तो फिर सबसे पहले बीएसएनएल कर्मचारियों की संख्या को घटाने के लिए वीआरएस यानि स्वैच्छिक सेवानिवर्ति का विकल्प देने का फॉर्मूला निकाला जाएगा.