त्वरित व संतुष्टिपरक हो लोगों की समस्याओं का समाधान : मुख्यमंत्री

गोरखपुर, 21 सितंबर। गोरखपुर प्रवास के दौरान जनता दर्शन में लोगों से मुलाकात करना और उनकी समस्याएं जानकर निस्तारण कराना मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की दिनचर्या में शामिल रहता है। इसी क्रम में उन्होंने गोरखपुर प्रवास के दौरान लगातार दूसरे दिन लोगों से मुलाकात कर उनकी समस्याएं सुनीं। इस दौरान अधिकारियों को निर्देशित किया कि लोगों की समस्याओं का निस्तारण उनकी सरकार की विशेष प्राथमिकता है, इसलिए पीड़ितों की समस्याओं को गंभीरता और संवेदनशीलता से लेते हुए उनका समाधान त्वरित और संतुष्टिपरक तरीके से कराना सुनिश्चित कराएं।

शनिवार सुबह गोरखनाथ मंदिर में जनता दर्शन में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने करीब 300 लोगों से मुलाकात की। मंदिर परिसर के महंत दिग्विजयनाथ स्मृति भवन के बाहर कुर्सियों पर बैठाए गए लोगों तक मुख्यमंत्री खुद गए और एक-एक कर उनकी समस्याओं को सुना। सबको आश्वस्त किया कि किसी को भी चिंता करने की आवश्यकता नहीं है, सबकी समस्या का समाधान हरहाल में किया जाएगा। जनता दर्शन में कुछ महिलाएं जमीन से जुड़े विवादों में प्रार्थना पत्र लेकर पहुंची थीं। कुछ की शिकायत थी कि दबंग उनकी जमीनों पर कब्जा करने का प्रयास कर रहे हैं।

इन शिकायतों पर मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को कड़ी कार्रवाई करने का निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि जमीन कब्जाने में पेशेवर प्रवृत्ति वालों को भू माफिया के रूप में चिन्हित कर सख्ती की जाए। जमीनी विवादों का समाधान तत्परतापूर्वक इस तरह होना चाहिए जिससे पीड़ित व्यक्ति संतुष्ट दिखे।

जनता दर्शन में गंभीर बीमारियों के इलाज के लिए आर्थिक मदद की गुहार लेकर पहुंचे लोगों को सीएम योगी ने आश्वस्त किया कि पैसे की तंगी से किसी का भी इलाज नहीं रुकने दिया जाएगा। उन्होंने प्रशासन को निर्देश दिया कि संबंधित मरीज के इलाज संबंधी इस्टीमेट की प्रक्रिया को पूर्ण कर इसे जल्द से जल्द शासन को उपलब्ध कराया जाए। इस्टीमेट मिलते ही इलाज के लिए धन अवमुक्त हो जाएगा। जनता दर्शन के दौरान कुछ महिलाओं संग पहुंचे उनके बच्चों को मुख्यमंत्री ने प्यार-दुलार और आशीर्वाद देते हुए चॉकलेट दिया।

पोलियोग्रस्त बच्चे को देख भावुक हुए सीएम, योगी

शनिवार को एक महिला अपने दिव्यांग बच्चे को लेकर आई थी। उसे व्हीलचेयर पर देखकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भावुक हो गए। उन्होंने महिला से बातचीत की। पता चला कि यह बच्चा जन्म से दिव्यांग नहीं था, उसे बाद में पोलियो हुआ। उसे लखनऊ और दिल्ली के बड़े अस्पताल में दिखाया गया है लेकिन डॉक्टरों ने जवाब दे दिया है। इस पर मुख्यमंत्री ने महिला को आश्वस्त किया कि उक्त बालक को एक बार फिर से पीजीआई लखनऊ के डॉक्टरों को दिखाया जाएगा। इसे लेकर सीएम ने मौके पर अधिकारियों को निर्देशित भी किया।

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