लखनऊ: प्रदेश में बाढ़ का कहर भले ही कम हो गया हो, लेकिन योगी सरकार की ओर से बाढ़ प्रभावितों की मदद की मुहिम लगातार जारी है। वर्तमान में प्रदेश के बाढ़ प्रभावित 11 जिलों में राहत कार्य युद्ध स्तर पर चल रहे हैं। यहां पर रविवार को 2735 लोगों को खाद्यान्न पैकेट बांटे गये और 2 लंगर संचालित किये गये। इसके अलावा जिन इलाकों में बाढ़ के पानी का स्तर कम हुआ है, वहां पर मेडिकल टीम द्वारा संचारी रोगों की रोकथाम के लिए विभिन्न आवश्यक कदम उठाये जा रहे हैं। वहीं सीएम योगी ने अधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि जब तक एक भी गांव बाढ़ से प्रभावित रहेगा,तब तक वहां राहत कार्य चलता रहेगा।
15 हजार से अधिक प्रभावितों को प्रदान की गई राहत सहायता
राहत आयुक्त जीएस नवीन ने बताया कि वर्तमान में प्रदेश के 11 जिले बांदा, आजमगढ़, बलिया, बाराबंकी, लखीमपुर खीरी, बिजनौर, देवरिया, फर्रुखाबाद, गोरखपुर, गोंडा और सीतापुर बाढ़ से प्रभावित हैं। इन जिलों की 18 तहसीलों के 133 गांव और 12 कटान वाले गांव की 89,888 जनसंख्या बाढ़ से प्रभावित है। इनमें से 15,523 जनसंख्या को रविवार को राहत सहायता प्रदान की गयी। इन जिलों में बाढ़ से 4,909 मवेशी प्रभावित हैं, जिन्हें सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया गया है। वहीं बाढ़ की चपेट में आने से एक मवेशी की मौत हो गयी। राहत टीम द्वारा मवेशी की मौत की सर्वे रिपोर्ट जिलाधिकारी को भेज दी गयी। उन्होंने बताया कि अगले 24 घंटे में पशुपालकों के खाते में मुआवजे की धनराशि भेज दी जाएगी। बाढ़ से इन जिलों का 13,239 हेक्टेयर क्षेत्रफल प्रभावित हुआ है, जिसमें फसल की क्षतिग्रस्त के आंकलन के लिए सर्वे किया जा रहा है। वहीं 341 नाव और मोटरबोट द्वारा बाढ़ प्रभावितों की मदद की जा रही है। वहीं इन इलाकों में रविवार को 2735 खाद्यान्न और 100 लंच पैकेट वितरित किये गये। इसके अलावा 2 लंगर के जरिये प्रभावितों को भोजन कराया गया।
615 मेडिकल टीम द्वारा किया गया बाढ़ प्रभावितों का हेल्थ चेकअप
राहत आयुक्त ने बताया कि बाढ़ से प्रभावित मवेशियों के लिए पशुपालकों को 165 कुंटल भूसा वितरित किया गया। वहीं मौसम में बीमारियों को देखते हुए प्रभावित इलाकों में 5,131 क्लोरीन टैबलेट, 2,396 ओआरएस के पैकेट बांटे गये जबकि 615 मेडिकल टीम द्वारा लोगों को हेल्थ चेकअप किया जा रहा है। इन इलाकों में 802 बाढ़ चौकियों के जरिये पल-पल की निगरानी की जा रही है। इसके अलावा आपात स्थिति से निपटने के लिए इन जिलों में 713 बाढ़ शरणालय संचालित किये जा रहे हैं, जिनमें 50 व्यक्ति रह रहे हैं। वहीं 287 व्यक्तियों को रेस्क्यू कर सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया गया।