राहत एवं बचाव से जुड़े सभी विभाग अलर्ट मोड में रहें: मुख्य सचिव

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र ने कहा कि बारिश के कारण प्रदेश की विभिन्न नदियों के जलस्तर में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है। इसलिए सिंचाई एवं जल संसाधन के साथ-साथ राहत एवं बचाव से जुड़े सभी विभाग अलर्ट मोड में रहें। मौसम की बदलती परिस्थितियों पर सतत नजर रखी जाए। हर गांव में रेन गेज के कार्य को तेजी के साथ पूरा किया जाए।

मुख्य सचिव ने बुधवार को वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से समस्त मंडलायुक्तों, जिलाधिकारियों एवं वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के साथ साप्ताहिक समीक्षा बैठक कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि प्रभावित जिलों में एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, पीएसी की फ्लड यूनिट तथा आपदा प्रबंधन टीम में 24X7 एक्टिव मोड में रहें। राहत एवं बचाव कार्य में आपदा प्रबंधन मित्र, सिविल डिफेंस के स्वयंसेवकों की आवश्यकतानुसार सहायता ली जाये।

उन्होंने कहा कि समस्त अतिसंवेदनशील तटबंधों पर प्रभारी अधिकारी, सहायक अभियन्ता स्तर के नामित किए जा चुके हैं, यह 24X7 अलर्ट मोड में रहें। तटबन्धों पर क्षेत्रीय अधिकारियों व कर्मचारियों द्वारा लगातार निरीक्षण एवं सतत् निगरानी की जाये। रैटहोल व रेनकट की स्थिति पर नजर रखें। तटबंधों की पेट्रोलिंग लगातार की जाए।

उन्होंने कहा कि बाढ़ के दौरान जलभराव की स्थिति होने पर आवश्यकतानुसार पशुओं को अन्यत्र सुरक्षित स्थल पर शिफ्ट कराया जाए। इसके लिए जनपदों की स्थिति को देखते हुए स्थान का चयन कर लिया जाए। स्थल पर पशुओं के लिये चारे की पर्याप्त व्यवस्था होनी चाहिए।

उन्होंने कहा कि गंभीर कुपोषित बच्चों की पहचान, स्वास्थ्य जांच, सदर्भन एवं पोषण प्रबंधन के लिए ‘संभव अभियान’ प्रदेश में संचालित किया जा रहा है। इस अभियान के तहत जनपद में विभिन्न विभागों के मध्य अंतर्विभागीय समन्वय स्थापित करते हुये सैम (गंभीर कुपोषित) बच्चों को विभिन्न विभागों की सेवाओं के लिए प्राथमिकता देते हुए लाभान्वित कराया जाये। इस अभियान को सफल बनाने के लिये प्रत्येक 15 दिनों पर समीक्षा की जाये। पोषण गतिविधियों में सहयोग के लिये जनपद स्तर पर विभिन्न सी.एस.आर., एन.जी.ओ. एवं डेवलपमेंट पार्टनर्स को सम्मलित करते पोषण फोरम का गठन किया जाये। अभियान एवं गतिविधियों का सोशल मीडिया सहित विभिन्न प्रचार माध्यमों पर वृहद प्रचार-प्रसार कराया जाये।

इससे पूर्व, मण्डलायुक्त बरेली सौम्या अग्रवाल ने ‘अन्नपूर्णा’ (उचित दर की दुकान एवं जन सुविधा केन्द्र) विषय पर प्रस्तुतीकरण दिया। बरेली मण्डल के अन्नपूर्णा स्टोर मॉडल को भारत सरकार द्वारा देश के समस्त राज्यों में लागू किया गया है।

इसी क्रम में जिलाधिकारी गोंडा ने ‘ब्रांड अरगा’ विषय पर प्रस्तुतीकरण दिया गया। उन्होंने बताया कि इस पहल का मुख्य उद्देश्य स्थानीय उत्पादों एवं महिला उद्यमियों को बढ़ावा देना है। यह जिले के स्वयं सहायता समूह, एफपीओ, ओडीओपी, केवीआईसी के उत्पादों की ब्रांडिंग एवं पैकेजिंग से सम्बन्धित समस्याओं को स्वयं में समाहित करता है। ब्रांड अरगा का लोगो जनपद गोंडा में स्थापित पार्वती अरगा पक्षी विहार से लिया गया है, जो शांति और समृद्धि का प्रतीक है।

बैठक में अपर मुख्य सचिव राजस्व सुधीर गर्ग, प्रमुख सचिव नियोजन आलोक कुमार, प्रमुख सचिव सिंचाई अनिल गर्ग सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण आदि मौजूद थे।

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